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Chut ki chudai - Nandoi ne chodi meri bur- ननदोई ने चोदकर मजा दिया
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मैंने कहा :- अरे अम्मी तू इसका लण्ड नहीं पहचानती ? तूने तो इसे कई बार चूसा होगा ? कई बार इसे अपने भोसड़ा में पेला होगा ? इतनी जल्दी भूल गयी तू इस लौड़े को ? मुझे देखो मैं जो लण्ड एक बार पकड़ कर देख लेती हूँ उसे कभी नहीं भूलती ?
अम्मी बोली :- देख सना मैं जब तेरी सहेली हो गयी हूँ तो तू न मेरी बेटी है और मैं न तेरी अम्मी हूँ ? मैं तेरी बुर चोदी आशिफा हूँ और तू मेरी बुर चोदी सना है। अब आज से तू मुझे बुर चोदी , बहन चोद मादर चोद भोंसड़ी वाली आशिफा कहा कर ? मैं भी तुझे ऐसे ही बुलाया करूंगी ? अब तू पहेलियाँ न बुझा जल्दी से बता कौन है ये मादर चोद जिसका लण्ड तू गन्ने की तरह चूस रही है भोसड़ी वाली सना ?
मैं बोली :- अरे ये तेरे नंदोई का लण्ड है, मादर चोद आशिफा ?
अम्मी बोली :- वाओ, तू चूतिया बना रही है, मुझे ? मैं अपने नंदोई के लण्ड की नस नस जानती हूँ। उसकी लम्बाई चौड़ाई उसका सुपाड़ा उसके पेल्हड़ सब जानती हूँ। यहाँ तक की वह कैसे चोदता है वह भी जानती हूँ। अगर रात के अँधेरे में वह मुझे चोदे तो मैं बता दूँगी की यह मेरा नंदोई है ? ये न मेरा नंदोई है और ये न मेरे नंदोई का लण्ड है ? अब बता कौन है ये बेटी चोद ? मैं दावे से कह सकती हूँ की यह मेरा नंदोई नहीं है ? क्योंकि यह लण्ड मेरे नंदोई का लण्ड नहीं है।
मैं बोली :- अरे है कैसे नहीं ? देख तेरी एक नन्द है सायरा जिसे तू जानती है और तेरी एक दूसरी नन्द है सरारा। सायरा के अब्बा ने दो शादियां की है दूसरी बीवी से यह भोसड़ी वाली सरारा पैदा हुई है। ये दोनों सौतेली बहने है। यह मुझे भी नहीं मालूम था। यह बात तो मुझे सरारा ने ही बताई क्योंकि वह मेरे साथ मेरे कॉलेज में पढ़ती थी। यह केवल एक साल बड़ी है मुझसे ? अब वह दुबई में रहती है और अभी दो दिन पहले ही यहाँ आयी है। जिस दिन वह यहाँ आयी थी उसी दिन मैंने कहा था यार सरारा अपने मियां का लण्ड कब पेलोगी मेरी बुर में ? उसने कहा कल तू पेल लेना उसका लण्ड अपनी बुर में क्योंकि कल मैं उसके दोस्त से चुदवाने जाऊँगी ? इसलिए सरारा का मियां शैफ अली आज मेरे पास आ गया और मैं उसका लण्ड चूस रही हूँ समझी बहन की लौड़ी आशिफा ? तू जिस लण्ड की बात कर रही है वह शौकत अली का लौड़ा हां सायरा के मियां का लौड़ा ?
वह बोली :- अच्छा तो नंदोई है मेरा और लौड़ा चूस रही है तू बुर चोदी, सना ?
मैं बोली :- तू भी तो मेरे नंदोई का लण्ड चूसती है भोसड़ी की आशिफा ? अब मैं तेरे नंदोई का लण्ड चूस रही हूँ तो तेरी गांड क्यों जल रही है ? अब तो हिसाब किताब बराबर हो गया अम्मी ?
तू मेरे नंदोई का लण्ड पीती है - मैं तेरे नंदोई का लण्ड पीती हूँ
वह बोली :- मेरी तो दो नन्द है सायरा और सरारा इसलिए तू दो दो लण्ड पियेगी मैं तेरे एक ही नंदोई का लण्ड पियूंगी ये तो सरासर नाइंसाफी है सना ?
मैंने कहा :- अभी तो मैंने तेरी नन्द सायरा के मियां का लौड़ा ही नहीं देखा ? आज पहली बार तेरे एक नंदोई का लण्ड पी रही हूँ मैं ? जबकि तू मेरे नंदोई से चुदवा चुकी है माँ की लौड़ी, आशिफा ? फिर भी तू चिंता न कर मेरी कई नन्द है। मैं अपने सब नंदोई के लण्ड पेलूँगी तेरी बुर में ? अब मैं अपनी ससुराल जा रही हूँ न वहां से सबसे भकाभक चुदवाकर आऊँगी।
अम्मी बोली :- ठीक है तू जा भोसड़ी वाली अपनी ससुराल ? मैं भी जा रही हूँ अपने माईके ? मैं भी वहां के लोगों से भकाभक चुदवा कर आऊँगी।
वैसे तो मजाक मजाक में हम दोनों ने इधर उधर जाने की बातें कही थी लेकिन यह बात बिलकुल सच साबित हुई जब मुझे मेरी सास ने बुला भेजा ? मैं चुपचाप अपने सास के बुलावे पर ससुराल चली गयी। दो दिन बाद मेरी अम्मी का फोन आया बोली अरी सना तेरे बिना मेरा मन नहीं लग रहा था तो मैं भी इधर अपने माईके चली आयी।
६ महीने बाद हम दोनों फिर मिली। मैं अपने माईके आ गयी और अम्मी अपनी ससुराल ? फिर हम दोनों बैठ कर बातें करने लगी। मैंने कहा अब तुम बताओ अम्मी कैसी रही तेरी माईके की चुदाई ? वह बोली नहीं सना पहले तुम बताओ अपनी ससुराल की चुदाई ? मैंने कहा नहीं पहले तुम बताओ ? कुछ देर तो पहले तुम पहले तुम होता रहा फिर मैंने कहा अरी भोसड़ी वाली आशिफा पहले तुम पहले तुम में तो लौड़ा ठंडा हो जायेगा फिर न तुझे मज़ा आएगा और न मुझे। अब मैं ही बताती हूँ तुम्हे अपनी कहानी ? मैं सुनाने लगी आप बीती कहानी :-
मैं जब ससुराल पहुंची तो सबसे पहले अपनी सास से मिली। बातों ही बातों में मैंने कहा सासू जी मैं माईके से अपनी अम्मी के नंदोई का लण्ड पी कर आ रही हूँ। उससे चुदवाकर आ रही हूँ ? बड़ा मस्त लौड़ा था इसलिए बड़ा मज़ा आया सासू जी। वह बोली अरी सना बहू कल रात भर मैंने भी अपने नंदोई का लण्ड पिया ? तीन बार चुदवाया और तीन बार लण्ड पिया ? साला बहन चोद बड़ा हलब्बी है उसका लौड़ा ? मैं तो कहती हूँ जा तू भी चुदवाकर देख ले। वो अभी ऊपर के कमरे में सो रहा है। जब तक मैं तेरे खाना बनाती हूँ तब तक फ़टाफ़ट चुदवा ले तू ? मैं तुझे बहुत याद कर रही थी। मेरे हाथ में जब भी कोई बढ़िया लण्ड आता है तो मुझे तेरी चूत की याद आने लगती है। मेरी हमेशा यह इच्छा रहती है की मैं बड़े बड़े लण्ड अपनी बहू की बुर में पेलूँ ? इतना कह कर सासू ने मेरे पकडे खोल दिया। मेरी चूंचियां नंगी हो गयी। फिर मैं केवल पेटीकोट पहने ही ऊपर चली गयी।
मैंने देखा की वह बहन चोद एकदम नंगा लेटा है। उसका लौड़ा खुला पड़ा है। सुपाड़ा एकदम बाहर लटक रहा है। मैं झुकी और जबान से सुपाड़ा उठाने लगी। सुपाड़ा उठ भी गया फिर उसे पोले पोले अपने होंठों से दबा लिया। मैं आहिस्ते आहिस्ते सुपाड़ा चाटने लगी। उसे भी कुछ मज़ा आया तो उसने लौड़ा मेरे मुंह में ठेल दिया मेरी हिम्मत बढ़ गयी। मैंने लौड़ा और अंदर घुसा लिया। उसने कई बार लौड़ा अंदर बाहर किया तो मैं मस्ती से भर गयी । फिर वह बोला अरी सना बहू तुम ? मैं तो समझा की शकीला भाभी मेरा लण्ड चाट रही है। मैंने कहा नहीं फूफा ससुर मुझे उसी ने तेरे पास भेजा है चुदवाने के लिए ? उसने यह सुनकर मुझे अपने बदन से चिपका लिया और मेरी चूंची जोर जोर से दबाने लगा। वह बोला तो फिर बहू रानी चुदवाओ न जल्दी से ? मैंने कहा ससुर राजा चोदो न जल्दी से ? पेलो जल्दी से अपना लौड़ा मेरी बुर में। बस वह भकाभक चोदने लगा मेरी बुर और मैं रंडी की तरह अपनी गांड उठा उठा के चुदवाने लगी। आशिफा अम्मी मुझे वाकई बड़ा मज़ा आया चुदवाने में ?
रात को मैं ११ बजे बाथ रूम के लिए उठी तो सासू के कमरे की तरफ मुड़ गयी। मैंने झांक कर देखा की मेरी सास बड़ी मस्ती से अपनी दोनों टाँगे फैलाकर किसी से धकापेल अपना भोसड़ा चुदवा रही है। मेरी नज़र उसके लण्ड पर टिक गयी जो बार बार उसके भोसड़ा में आ जा रहा था। लेकिन लौड़ा पूरा देख नहीं पाई। थोड़ी देर में जब लौड़ा बाहर निकला तो सासू ने उसे पकड़ कर बिना पोंछे हुए अपने मुंह में घुसा लिया। हाय अल्ला, कैसी है मेरी सासू जी एकदम गीला गीला लौड़ा मुंह में पेल लिया। लौड़े की लम्बाई चौड़ाई देख कर मेरी भी चूत चुदासी हो गयी। तब तक सासू बोली हाय अनवर क्या इसी तरह कल मेरे मियां ने तेरी बीवी चोदी थी ? वह बोला हां भाभी बिलकुल इसी तरह चोदा उसने मेरी बीवी ? मेरी बीवी साली कुतिया तेरे मियां के लण्ड को बहुत पसंद करती है। कहती है की इतना बड़ा लण्ड न तो मेरे कुनबे में किसी का है और न मोहल्ले में किसी का ? एक बात तो है शकीला भाभी की तेरे मियां अल्ताफ भाई का लौड़ा तो वाकई मेरे लौड़े से बड़ा है ? यह सुन कर मेरी बुर की आग और भड़क गयी । मेरा मन हुआ की मैं अपने ससुर का लौड़ा अभी पकड़ कर अपनी बुर में घुसेड़ लूँ ? सासू फिर चुदवाने लगी। थोड़ी देर में बोली हाय अनवर मैं तो खलास हो गयी रे ? ला अब मैं तेरे लण्ड का मुठ्ठ मार देती हूँ ? मैंने सासू को मुठ्ठ मारते हुए और फिर झड़ता हुआ लण्ड पीते हुए बड़े इत्मिनान से देखा ?
मैं जब वापस अपने कमरे में आने लगी तो मेरा मन हुआ की मैं ससुर के पास जाकर देखूं वह क्या कर रहा है ? मैं उसी तरफ मुड़ गयी मैंने देखा की ससुर लेटा हुआ है लेकिन उसका लौड़ा लुंगी के अंदर खड़ा हुआ है। लुंगी का तम्बू बना दिया है उसने ? मैंने धीरे से बोली हाय ससुर जी तेरा भोसड का लण्ड देखो क्या कर रहा है ? वह एकदम से घूम गया और मुझे अपनी तरफ खींच लिया ? मेरी चूंचियां दबाने लगा। मैंने कहा मेरे बेटी चोद ससुर तेरी बीवी कोई और चोद रहा है तू यहाँ अपना लौड़ा खड़ा किये हुए लेटा है ? वह बोला हां मुझे मालूम है वह अनवर है न मेरी बीवी चोद रहा है। मैं कल उसकी बीवी चोद कर आया हूँ . लेकिन सना बहू आज तुम मुझे बहुत सेक्सी लग रही हो ? मैं बोली तो क्या तुम मुझे चोदोगे ? वह बोला हां हां बिलकुल चोदूंगा ? बिना चोदे अब मैं नहीं रह सकता ? मैंने बोली तो फिर चोद न जल्दी से मेरी बुर तुझे कौन भोसड़ी वाली रोक सकती है ? लेकिन पहले अपना लौड़ा तो दिखा मुझे ? सुना है बहन चोद बहुत बड़ा है तेरा लौड़ा साला ? उसने फ़ौरन अपनी लुंगी खोल कर फेंकी दी और बोला ले देख ले भोसड़ी की मेरी बहू मेरा लौड़ा ? पकड़ कर देख ले मेरा लौड़ा, चाट कर देख ले, चूस कर देख ले मेरा लौड़ा ? और चाहे तो अपनी चूत में घुसा के देख ले मेरा लौड़ा ? उसकी ये बातें मेरे अंदर जोश भर रही थी। मैं भी मादर चोद बिलकुल नंगी हो गयी और उसके ऊपर चढ़ कर उसका लौड़ा चाटने लगी। मैंने अपनी चूत उसके मुंह पे रख दी तो वह मेरी चूत चाटने लगा। लौड़ा तो बहन चोद वाकई बड़ा मस्त और मेरे मन का निकला ? उसके बाद तो मैंने जी भर के रात भर चुदवाया आने हरामजादे ससुर से। एक बार चुदाने के बाद रास्ता खुल गया और मैं आये दिन उससे चुदवाती रही।
आशिया अम्मी अब मेरी इच्छा हो रही है की किसी दिन उसका लौड़ा मैं तेरे भोसड़ा में पेलूँ ? मैंने उससे एक दिन पूंछा ससुर जी मेरी माँ का भोसड़ा चोदोगे तो वह उछल पड़ा बोला बहू तूने मेरे मुंह की बात छीन ली। मैं तो उस दिन का इंतज़ार कर रहा हूँ जब मेरा लण्ड तेरी माँ की चूत में घुसेगा ? बस मैं फिर उससे पीछे से चुदवाने लगी।
एक दिन मैं जेठानी के पास गयी तो देखा की वह मेरे मियां का लण्ड पकड़ कर हिला रही है। मुझे देख कर बोली अरी सना तू बगल के कमरे में जा वह तेरा जेठ भोसड़ी का शायद बाथ रूम में होगा। वह जैसे ही निकले तुम उसका लौड़ा पकड़ लेना ? मैं तेरे मियां से चुदवाने जा रही हूँ तू मेरे मियां से चुदवा ले ? मुझे यह जानकार ख़ुशी हुई की मेरी ससुराल में सब लोग एक दूसरे की बीवी ख़ुशी ख़ुशी चोदते है ? बीवियां भी ख़ुशी ख़ुशी एक दुसरे के मर्दों से चुदवाती है। यहाँ कोई किसी की बीवी चोद ले, किसी की बेटी चोद ले, किसी की माँ चोद ले तो वहां कोई बुरा नहीं मानती ? बल्कि इसे अपनी खुशनसीबी मानती है। जब कोई किसी को चोदता है तो इसका मतलब की वह उसे चाहता है। चोदने और चुदाने की इतनी आज़ादी बहुत कम घरानो में होती है। अब तू बता भोसड़ी वाली आशिफा ? तूने अपने माईके में क्या क्या गुल खिलाया ? उसने कहा :-
मैं जब अपने माईके पहुंची तो सबसे पहले मेरी मुलाक़ात मेरी भाभी नाज़िया से हुई। बातों बातों में मैंने पूंछा की सायरा और सरारा दोनों हमारी नंदे है ? उसने कहा हा यह सच है। दोनों सौतेली बहने है पर दोनों बुर चोदी बड़ी चुदक्कड़ है। दोनों बहन चोद पराये मर्दों से चुदवाती है। मैंने कहा हां भाभी मैं तो सायरा के मियां से चुदवाती हूँ लेकिन सरारा के मियां से कभी नहीं चुदवाया ? वह बोली हाय अल्ला, तू अभी तक उसका लौड़ा नहीं देखा ? अरे यार क्या मस्त लौड़ा है उसका और क्या मस्त चोदने वाला लौड़ा है उसका ? अभी कल ही तो चोद कर गया है मुझे ? मैं आज रात को बुला लेती हूँ तेरे लिए ? तुम चुदवा कर देखना, मज़ा आ जायेगा। भाभी ने वैसा ही किया और मैंने उससे रात भर चुदवाया। तुम तो चुदा चुकी हो उससे सना लेकिन मैंने उससे अपने माईके में चुदवाया।
उसकी एक लड़की है ज़ारा । एक दिन मैंने देखा की ज़ारा अपने कमरे में दो लड़कों से चुदवा रही है। भाभी घर पर नहीं थी। मैं छुप कर उसकी हरकत देखने लगी। वह एक लड़के की दोनों टांगों के बीच में अपना मुंह घुसेड़ कर उसका लौड़ा चाट रही थी। उसकी गांड उठी हुई थी और पीछे से एक लड़का उसकी बुर चोद रहा था। थोड़ी देर में बुर चोदने वाला लड़का आगे आकर लेट गया और ज़ारा उसका लौड़ा चाटने लगी और वह लड़का पीछे जाकर उसकी बुर चोदने लगा। यानी लड़कों ने अपनी जगह बदल ली। मेरी नज़र दोनों के लण्ड पर पड़ी। लण्ड तो वास्तव में बड़े जबरदस्त थे। इतने में ज़ारा बोली अबे भोसड़ी के ताहिर देख मुझे चोद कर भाग न जाना , आज रात को तुम्हे मेरी माँ का भोसड़ा चोदना है। और तू भी सुन ले माँ के लौड़े असद तुझे भी मेरी माँ चोदनी है। तुम वैसे ही मेरी माँ चोदोगे जैसे तुम ताहिरा की माँ चोदते हो ? ताहिरा आंटी और उसकी बेटी को तेरा लौड़ा बड़ा पसंद है। आज यही लौड़ा मैं अपनी माँ के भोसड़ा में पेलूँगी समझे भोसड़ी के असद ? ज़ारा ऐसा बोल कर फिर चुदवाने लगी ? मैं समझ गयी की ज़ारा अपनी माँ चुदवाती है। यह सुनकर और उसकी बेबाक चुदाई देख कर मेरा भोसड़ा मचल उठा। मैं भी चुदाने के लिए तड़प उठी।
दूसरे दिन मैं भाभी के साथ बैठ कर बातें कर रही थी की इतने में ज़ारा आ गयी।
- वह बोली :- हाय अम्मी, तुम्हे चोदने कौन कौन आया था ?
- भाभी बोली :- तेरे दोस्त शाहिद और अरसद दोनों भोसड़ी वाले चोद कर गये ?
- ज़ारा बोली :- लेकिन मैंने असद और ताहिर को भेजा था तेरा भोसड़ा चोदने के लिए ?
- भाभी बोली :- अरे ये दोनों तो कल चोद कर गए मादर चोद ?
- ज़ारा :- उन दोनों के लण्ड पसंद आये तुम्हे की नहीं अम्मी ?
- भाभी बोली :- अरे यार बड़े मस्त लौड़े है उन दोनों के ? मुझे तो मज़ा आ गया चुदाने में ( मैं उन दोनों की बात सुनकर बड़ी हैरान थी मैं सोंचने लगी की शायद ये दोनों भी हम दोनों की तरह चोदा चोदी करती है )
- तब तक भाभी बोली :- अरी आशिफा तू हमारी बातें सुनकर हैरान न हो ? ये मेरी बेटी बुर चोदी ज़ारा है न ये साली कुतिया अपनी माँ चुदवाती है। ये भोसड़ी वाली अपनी माँ के भोसड़ा में लौड़ा पेलती है। एक दिन इसने कहा अम्मी मेरे कॉलेज की सभी लड़कियां अपनी माँ चुदवाती है। और कॉलेज आकर हर दिन अपनी माँ चुदाने की बातें करती है या फिर लण्ड की बातें करती है ? मुझे न माँ चुदाने का कोई तज़ुर्बा है और न लण्ड का ? मैं बस पागलों की तरह सबकी बातें सुनती रही हूँ। सब लड़कियां बुर चोदी मुझे बुद्धू और बैकवर्ड मानने लगी है ? इसलिए मैं भी अपनी माँ चुदाऊंगी ? मैं मुस्करा पड़ी और कुछ नहीं बोली ? हां इतना ज़रूर है की मैं और ज़ारा एक दूसरे को गाली दे कर बातें करने लगी थी।
- ज़ारा बोली :- हां फूफी अम्मी सच कह रही है। तभी मैंने एक दिन अपने दोस्त अकरम का लण्ड पकड़ कर सीधे अम्मी के कमरे में चली गयी और कहा लो अम्मी आज मेरे सामने इसका लौड़ा अपनी बुर में पेलो ? मैं आज अपनी माँ चुदवाकर ही जाऊँगी और कल कॉलेज में मैं सबकी गांड मारूंगी। बस उसी दिन से मैं माँ चुदवाने लगी फूफी जी ? अब मैं तुम्हे बताती हूँ फूफी की अगर मैं इसका भोसड़ा चुदवाती हूँ तो ये भी बड़े बड़े लण्ड मेरी बुर में घुसा देती है। मेरी चूत अपने सामने चुदवाती है ये भोसड़ी वाली ?
- भाभी बोली :- यार आशिफा हम दोनों बहन चोद ऐय्यास हो गयी है। पैसा है, जवानी है, मस्त चूत है तो फिर क्यों न करें ऐय्याशी ? मैं तो कहती हूँ की तुम भी चुदवाया करो मेरे साथ ?
- ज़ारा बोली :- अरे हां फूफी तेरा भोसड़ा भी तो बहन चोद अभी जवान है। मैं आज ही रात को तेरे भोसड़ा में दो दो पेल कर मज़ा लूंगी।
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