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मुझे आगे और पीछे दोनों तरफ से चोदो - Chut aur gand ki ek sath chudai karo
मुझे आगे और पीछे दोनों तरफ से चोदो - Chut aur gand ki ek sath chudai karo , Meri bur fad do , Gand bhi maro , Chut ko bhosda bana do , bur faad do.
दोस्तों, मैं मिसेज तान्या शर्मा हूँ, ३० साल की एक मद मस्त और खूबसूरत बीवी। मेरे पति का नाम है श्री तुषार। वह भी ३२ साल का नौजवान तगड़ा तन्दुरुस्त और हैंडसम है। हमारी शादी के ५ साल हो चुके हैं और इन ५ सालों में हमने सेक्स का खूब मज़ा लिया है। मुझे उसका लण्ड बहुत पसंद है और उसे मेरी चूत व् चूचियाँ। हम दोनों एक दूसरे को खूब मज़ा देते हैं और लेते हैं लेकिन कोई चीज कितनी भी अच्छी हो, उसका बार बार उपभोग करते करते थोड़ी बोरियत तो आ ही जाती है। इस बोरियत को मिटाने के लिए कुछ बदलाव की जरुरत महसूस होती है। मैं इधर कुछ दिनों से देख रही थी की हमारी चुदाई में वह मज़ा नहीं आ रहा है जो पहले कभी आया करता था। अब तो लगता है की यार कुछ भी नयापन नहीं, वही लण्ड, वही लण्ड का टोपा, वही पेलहड़, वही चुदाई कहाँ तक इसके सहारे ज़िन्दगी कटेगी। उधर वह भोई सोंचने लगा की यार वही चूत वही चूचियाँ वही लण्ड चूसने की और चुदवाने की स्टाइल ? कुछ भी तो नया नहीं ?
एक दिन मैंने ठान लिया की अब मैं इसमें कुछ न कुछ नयापन जोडूँगी। मैं अपने कॉलेज के दिन याद करने लगी जब मैं २/३ लड़कों के लण्ड पकड़ा करती थी। लण्ड चूसती थी और चुपके चुपके उनसे चुदवाया करती थी। फिर मेरे मन में आया क्यों न २/३ शादी शुदा मर्दों के लण्ड पकड़ूं ? उनके लण्ड चूसूं, उनसे चुदवाऊँ ताकि सेक्स पहले की तरह फिर मज़ा देने लगे ? मेरे पति को भी किसी और की बीवी चोद कर मज़ा आएगा ? उसका भी लण्ड कोई और चूसे तो उसे और मज़ा आएगा। तब मैंने सोंच लिया की अब मैं किसी दिन अपने पति से किसी और की बीवी चुदवाऊँगी।
मैंने एक दिन अपने पति से खुल कर कहा - मेरे आगे दूसरे की बीवी चोदो तो उसे बिश्वास नहीं हुआ ? मैंने फिर जोर देकर कहा हां हां मैं सच में बड़े मन से कह रही हूँ की तुम मेरे सामने दूसरे की बीवी चोदो।
वह फिर बोला - ऐसे में तुम्हे बुरा नहीं लगेगा ?
मैंने जबाब दिया - बुरा क्यों लगेगा मैं देखना चाहती हूँ की तुम किसी और की बीवी कैसे चोदते हो ? और यह भी देखना चाहती हूँ की किसी दूसरे की बीवी तुमसे कैसे चुदवाती हैं। अगर वह मुझसे अच्छा चुदवा लेती है तो मैं उससे सीख लूंगी औरअगर मैं उससे अच्छा चुदवा लेती हूँ तो मैं उसे सिखा दूँगी ? अब देखो इसमें देर न करो। अपने किसी दोस्त की बीवी को पटाओ और उसे मेरे सामने चोदो।
मेरे तर्क का मेरे पति के पास कोई जबाब न था। वह थोड़ी देर तक सोंचने लगा। मैंने फिर कहा अरे इसमें सोंचने की क्या बात है। उठाओ फोन और अपंने किसी दोस्त को ड्रिंक्स पर बुला लो। ड्रिंक्स के साथ साथ उसका डिनर भी करवा दो। इसी बीच उससे खुल कर बातें करोऔर अपने दिल की बात कह दो ?
वह बोला हां यह सब तो ठीक है मगर कहीं उसने कह दिया की मैं तेरी बीवी चोदूँगा तो ?
मैंने हंस कर कहा तो क्या ? तुम भी चुदवा लेना अपनी बीवी ?
वह बोला तो क्या तुम उससे चुदवा लोगी ?
मैंने कहा अगर तुम कहोगे तो चुदवा लूंगी नहीं तो नहीं ?
अरे यार जब मैं उसकी बीवी चोदूँगा तो उसे अपनी बीवी चोदने से कैसे मना करूंगा ?
हां तो ठीक है कोई बात नहीं ऐसा ही हो जाने दो ? तुम उसकी बीवी चोदो वो तेरी बीवी चोदे ?
और अगर वह अपनी बीवी चुदवाने के लिए न तैयार हो तो ?
तो फिर मैं किसी और की बीवी को तैयार करुँगी और तुम भी किसी और दोस्त से बात करना । कोई न कोई तो तैयार हो ही जायेगा ?
हम दोनों की बात चीत से यह तो साफ़ हो गया की मेरी तरह वह भी बदलाव चाहता है। मैं अगर किसी के पति से चुदवाना चाहती हूँ तो मेरा पति भी किसी की बीवी चोदना चाहता है। अब मेरे सामने यह सवाल था की मैं किसकी बीवीअपने पति से चुदवाऊँ ?
मैं कई दिनों तक यही सोंचती रही। उधर मेरा पति भी अपने दोस्तों से बात चीत करता रहा लेकिन कुछ काम बन नहीं रहा था। एक दिन अचानक मेरी कॉलेज की दोस्त अदिति का फोन आ गया। वह बोली हाय तान्या तुम कहाँ हो ? मैंने जबाब दिया यार मैं यही मुंबई में हूँ। वह बोली यार मेरे पति का ट्रांसफर भी मुंबई में हो गया है और मैं यहाँ दादर में रहती हूँ। मैं तुमसे मिलना चाहती हूँ बोलो कैसे मिल सकती हो ? मैंने जबाब दिया यार मैं भी दादर के पास ही हूँ। ऐसा करो तुम सिद्ध विनायक मंदिर में आ जाओ मैं तुम्हे वहीँ मिल जाऊंगी। आधे घंटे के बाद हम दोनों मिलीं तो एक नयी ऊर्जा का संचार हुआ। वह मुझे अपने घर ले गयी और हम दोनों बैठ कर बातें करने लगीं। इतने में उसने ड्रिंक्स बन दिया। वह जानती थी की मैं कभी कभी शराब पी लेती हूँ और सिगरेट का मज़ा भी ले लेती हूँ। अतः हम दोनों सिगरेटऔर शराब दोनों साथ साथ पीने लगीं।
जब थोड़ा लुत्फ़ आने लगा तो मैंने कहा यार अदिति तू तो पहले से और खूबसूरत हो गयी है। तेरी चूचियाँ तो पहले से बड़ी बड़ी हो गईं है। ऐसा कह कर मैंने उसकी फोटो खींच ली -- वह बोली बड़ी तो तेरी भी हो गईं है यार और तू भी बड़ी सुन्दर निखर आई है। लगता है तेरे पति का लौड़ा तुझे बड़ा मस्त बना रहा है और उसने भी मेरी फोटो खींच ली -- हां यार बात तो सही है पर कब तक ऐसा होता रहेगा। मैं तो एक ही लौड़े से चुदवा चुदवा कर ऊब गयी हूँ -- यार सच बताऊँ ऊब तो मैं भी चुकी हूँ। सच बात तो यह कई खाना कितना भी स्वादिस्ट क्यों न हो बार बार वही खाने से मज़ा कम होता जाता है। मैं भी जब देखो तब अपने ही हसबैंड का लण्ड चूसा करती हूँ। अरे कभी किसी और का लण्ड चूसने को मिले तो मज़ा भी आये -- हां यार मेरे साथ भी यही है। मैं और एक बात बताऊँ ऐसा मेरे पति के साथ भी ऐसा ही हो रहा है। वह भी बिचारा ५ साल से एक ही बुर चोद रहा है। उसे भी अगर किसी और की बुर चोदने को मिले तो उसे भी अच्छे लगे -- हां तान्या तू सच कह रही है मेरा भी पति शायद यही सोंच रहा है। कभी कभी तो मुझे चोदते समय वह अपने दोस्तों की बीवियों का नाम लेने लगता है -- एक बात तो तय हैं की मर्दों को दूसरों की बीवियां अच्छी लगती हैं -- यार तो फिर यह भी बात तय है की बीवियों को भी पराये मरद अच्छे लगते हैं। कोई भी बीवी बहन चोद ऐसी नहीं होगी जो पराये मरद के लण्ड के बारे में न सोंचे -- तो फिर इसका मतलब की तुम मेरे पति के लण्ड के बारे में सोंचती होगी क्योंकि मैं तो तेरे पति के लण्ड के बारे में सोंच रही हूँ -- हां हां बिलकुल मैं तो तेरे पति का लण्ड लेना चाहती हूँ -- तो ले ले न मना कौन करती है यार -- पर यार मेरा पति तो आजकल टूर पर गया है -- कोई बात नहीं। मैं तो चाहती हूँ की तुम मेरे पति से चुदवा लो अदिति। जब तेरा पति आएगा तो मैं उससे चुदवा लूंगी -- वह हंस कर बोली मैं तेरे पति से चुदवाने के लिए तैयार हूँ लेकिन अब तू मेरे घर आई है तो फिर चुदवा कर जा न -- लेकिन तेरा पति तो है नहीं ? -- नहीं है तो क्या हुआ ? उसकी जगह कोई और तो है जिससे मैं चुदवाती हूँ। मैं उसे अभी बुला लेती हूँ और तेरी बुर चुदवा देती हूँ। देखो यार अब तुमसे क्या छुपाना मेरा पति जब जब टूर पर जाता है तो मैं किसी और को बुला कर चुदवाती हूँ। बिना लण्ड के मुझे नींद नहीं आती ?
मैं उसकी बात सुनकर दंग रह गयी। इतने में अचानक मेरे पति का फोन आ गया। वह बोला मैं घर पहुँच रहा हूँ तुम भी आ जाओ। मैंने कहा मुझे आने में एक घंटा लगेगा। वह बोला ठीक है। मैं बस जाने की तैयारी करने लगी। तब तक अदिति बोली अरे यार थोड़ा तो रुक जाओ। मैं उसके कहने पर रुक गयी। इतने में किसी ने डोर बेल बजायी। अदिति ने दरवाजा खोला मैं अंदर बैठी हुई थी। वह एक लड़के को लेकर मेरे पास आ गयी। मैंने जब उसे देखा तो मेरी चूत बहन चोद गीली हो गयी। लड़का एकदम जवां हैंडसम और गोरा चिट्टा था। तान्या ने उसे भी एक पैग शराब थमा दी और कहा तान्या देख यह मेरा बॉय फ्रेंड है रोहित। थोड़ी देर बाद वह रोहित का लण्ड ऊपर से ही सहलाने लगी। उसने कहा तान्या जब मेरा पति बाहर होता है तब मैं रोहित से चुदवाती हूँ और इसके दोस्तों से भी चुदवाती हूँ। उसने रोहित की पैंट खोल दी और लण्ड अंदर से बाहर निकाल लिया। मेरे नज़र लण्ड पर पड़ी तो मैं मस्त हो गयी। देखते ही देखते अदिति ने रोहित को पूरा नंगा कर दिया और उसका लण्ड मुझे पकड़ाते बोली अब आई हो तो लण्ड पीकर जाओ तान्या।
बहुत दिनों के बाद किसी पराये मर्द का लण्ड मेरे हाथ लगा था इसलिए मैं अपने आप को रोक न सकी। मैं बड़े प्यार से लण्ड हिलाने लगी और चूमने लगी तब तक उसने मुझे पूरी नंगी कर दिया। मेरा नंगा बदन देख कर लण्ड और फुफकार मारने लगा. मैं लौड़ा मुंह में डाल कर मस्ती से चूसने लगी। बहुत दिनों के बाद किसी और का लौड़ा चूसने में मुझे मज़ा आने लगा। मुझे जाने की जल्दी तो थी पर लौड़ा छोड़ने की जल्दी नहीं थी। मैं लण्ड के साथ साथ उसके बॉल्स भी चूसने लगी। मुझे टोपा चाटने में और चूसने में बड़ा अच्छा लग रहा था। मेरी चूत लण्ड के लिए बेताब हो रही थी लेकिन मेरे पास चुदवाने का टाइम नहीं था। तब तक अदिति भी मेरे साथ लण्ड चाटने लगी। टोपा से पेलहड़ तकऔर पेलहड़ से टोपा तक। मैं तो लण्ड मुंह में लेकर चूस लेती थी। मैं मनग हो गयी लण्ड में। समां गयी लण्ड में। मैं सोंचने लगी की इसी तरह अगर कई लण्ड मेरे सामने हो तो कितनाअच्छा लगेगा। रोहित भी सिस्याने लगा। मुझे लगा की अब वह निकलने वाला है। मैंने फिर मुंह खोल कर लण्ड मुठ्ठी में लिया और दनादन्न सड़का मारने लगी।
मेरे इस जोस को देख कर लण्ड और सख्त हो गया। उसका टोपा चमकने लगा और मैं लण्ड पीने के लिए व्याकुल होने लगी। तभी लण्ड ने ३/४ पिचकारी मेरे मुंह में ही गिरा दीं। सारा वीर्य मेरे मुंह में ही गिरा और मैं जबान निकाल कर सब चाट गयी। अदिति मुझे देख कर समझ गयी की मुझे पराये मर्दों के लण्ड से कितना प्यार हैऔर उनका कितना इंतज़ार है ? मैं और मेरा पति तुषार लगभग दोनों एक साथ ही घर पहुंचे। मैंने बात चीत में बताया की मेरी सहेलीअदिति तुमसे चुदवाने के लिए तैयार है। वह बोला अरे इतनी जल्दी कैसे तैयार हो गयी। मैंने कहा दरअसल वह भी वही सोंच रही थी जो हम लोग सोंच रहें थे। चूँकि वह मेरी कॉलेज की सहेली है इसलिए हमने खुल कर बात चीत की। मैंने रोहित का लण्ड पीने के अलावा सब बातें तुषार को बता दीं . जब मैंने अदिति की फोटो दिखाई तो वह उसे पाने के लिए बेताब हो गया और बोला यार अब जल्दी ही मिलवायों न मुझे उससे ? उधरअदिति का पति जय भी मेरी फोटो देख कर राज़ी हो गया जैसा की उसने मुझे बाद में बताया। फिर क्या हमने दोनों को अपने घर में डिनर पर बुला लिया।
शनिवार का दिन था। अदिति साड़ी पहन कर आई थी। उसका डीप नेक का स्लीवलेस ब्लाउज़ बड़ा सेक्सी लग रहा था। इधर में केवल एक मैक्सी पहन ली थी। अंदर से बिलकुल नंगी थी। मैंने ड्रिंक्स का इंतज़ाम पहले ही कर लिया था। मैं अदिति के पति जय को देख रही थी और मेरा पति अदिति को। अदिति तो अब तक बिलकुल रंडी हो चुकी थी। पर मैंने पांच साल के बाद उस दिन पहली बार किसी पराये पुरुष का लण्ड पकड़ा था. मैं जय के लण्ड के लिए व्याकुल हो रही थी। अदिति भी जल्दी से जल्दी मेरे पति का लण्ड अपने मुंह में लेना चाहती थी। इतने में मैं कुछ सामान लेने अंदर गयी। मेरे पीछे मेरा पति भी आ गया। मौका पाते ही मैंने कहा देखो तुषार मेरी जान आज तुम मेरे सामने जय की बीवी चोदो। उसे खूब कस कस के चोदो। उसकी चूत का हलवा बन दो।वैसे ही चोदो जैसे तुम मुझे चोदते हो ? देखो तेरे लण्ड में तनाव हमेशा बना रहना चाहिए , शर्माना नहीं और न ही किसी बात का संकोच करना ? तुम जितनी मस्ती से उसकी बीवी चोदोगे उतनी ही मस्ती मेरे अंदर भी पहुँच जाएगी। मैं तुम्हे घोड़े की तरह अदिति की बुर चोदते हुए देखना चाहती हूँ। एक बार मेरा पति किसी की बीवी की बुर में लौड़ा पेल दे बस मेरी तमन्ना पूरी हो जाएगी। फिर तो मेरा रास्ता खुल जायेगा। मैं पति के सामने भी और पीठ पीछे भी दना दन्न चुदवाती रहूंगी और पराये मर्दों के लण्ड का मज़ा लेती रहूंगी।
मैं बाहरआ गयी और सबके साथ बैठ कर दारू पीने लगी. खूब गहरी बातें होने लगीं। नशा चढ़ने लगा। तब तक अदिति बोली यार तुषार आज तो मैं तुमसे चुदवाने आई हूँ। आज तुम मुझे बड़े सेक्सी लग रहे हो। मैं तेरे लण्ड की प्यासी हूँ। मुझे लौड़ा दिखाओ न प्लीज ? उसे देख कर मेरे अंदर भी जोश आ गया। मैंने कहा यार जय तुम बड़े हैंडसम हो। तेरा लौड़ा भी हैंडसम होगा। मैं अभी तेरा लौड़ा देखना चाहती हूँ। शराब का नशा भी मजे दार चीज है की इसके बहाने तुम सब कुछ खुल्लम खुल्ला कह सकते हो। यही यहाँ पर होने लगा। मैंने भी कहा यार जय सामने मेरी बीवी चोदो। जय बोला ठीक है पर तुम मेरी मेरे सामने मेरी बीवी चोदो। मैंने जय का लौड़ा खोल कर बाहर निकाल लिया और अदिति ने मेरे मियां तुषार का लण्ड। मैंने लण्ड की कई बार चुम्मी ली। उसका टोपा खूब चूमा और पलहड़ भी। उसने भी मेरी चूत सहलाई मेरी चूचियाँ चूमीं और मेरी जांघें सहलाने लगा। फिर मैंने अपनी मैक्सी उतार दी। मैं मादर चोद बिलकुल नंगी हो गयी। उधर वो दोनों भी नंगे हो गए। मेरे हाथ मेंअदिति के पति का लण्ड था अदिति के हाथ में मेरे पति का लण्ड।
मैं गिद्ध की निगाह लगाए हुए थी की कब मेरा पतिअदिति की बुर में लौड़ा पेलता है। हाय राम वह मौक़ा आ भी गया। मेरे पति ने अदिति की बुर में लौड़ा टिकाया और भक्क से एक ही बार में पेल दिया। फिर वह मेरे कहने के अनुसार उसकी बुर चोदने लगा और मैं खुश होने लगी। तब तक मेरी भी चूत बुरी तरह चुदासी हो चुकी थी। मैं भी जय से चुदवाने लगी।उसका लौड़ा मुझे पसंद आ गया और मैं मस्त हो गयी। अब घर में दोनों मरद एक दूसरे की बीवी चोदने में जुट गये। मेरा तो यह पहले मौका है जब मैं शादी के बाद अपने पति के आगे किसी और के पति से चुदवा रही हूँ। मैं मन में बहुत खुश हो रही थी और मेरी जवानी बड़ी अच्छी तरह से कटेगी। मैं यह भी सोंचने लगी की अब मैं किस किस से चुदवाऊँ ? जय का लौड़ा मेरी चूत के परखच्चे उड़ा रहा था और मैं एक मस्त कॉल गर्ल की तरह चुदवा रही थी। किसी ने सच ही कहा है की पराये मरद का लण्ड बड़ा मज़ा देता है। उधर मेरा पति भी मस्ती सेअदिति की बुर ले रहा था। वह भी बोला यार अब मुझे मालूम हुआ किसी दूसरे की बीवी चोदने में कितना मज़ा आता है।
थोड़ी देर में मैं पीछे से चुदवाने लगी। मुझे इस स्टाइल में लौड़ा घुसेड़वाने में अच्छा लगता है। मैं कुतिया की तरह चुद रही थी। उधरअदिति मेरे पति के लण्ड पर बैठ कर चुदवा रही थी। मैं सच में चाहती हूँ की मेरा पति कई लोगों की बीवियां चोदे और मैं उन सब लोगों से भकाभक चुदवाऊँ ? मेरे मन के ख्याल आया की इस खेल में कौन कौन कपल शामिल किये जाएँ ? मैं धकाधक चुदवा भी रही थी और सोंच भी रही थी। इतने में जय बोला तान्या भाभी अब मैं निकलने वाला हूँ। बस मैं घूम गयी और लण्ड मुठ्ठी में लेकर सड़का मारने लगी। मेरा मुंह खुला था। जय बोल रहा था, हाय भाभी और जल्दी जल्दी मारो सड़का, और तेज, हां और तेज, आ हां, ओ, हो, वावो, हां भाभी और तेज क्या बात है, भाभी तेरे हाथ में जादू है, ओ हो, आ, ओ ,हो, लो मैं खलास हो गया भाभी। उसके लण्ड में मेरे मुंह में पिचकारी छोड़ दी और मैं झड़ता हुआ लण्ड चाटने लगी। मैं तो बहन चोद पहले ही झड़ चुकी थी। मुझे एक अनोखी सन्तुष्टि मिली।
उसके बाद मैंने कई कपल के साथ चोदा चोदी की। मेरे पति ने मेरे आगे कई लोगों की बीवियां चोदी और मैंने अपने पति के आगे कई लोगों से चुदवाया। हम दोनों बहुत बेशर्म और निर्लज्ज हो चुके थे। धीरे धीरे मैं भी अदिति की राह पर चलने लगी। जब मेरा पति कहीं टूर पर जाता तो मैं यहाँ गैर मर्दों से दिन रात चुदवाती। मेरा यह सिलसिला कई वर्षों तक चलता रहा। एक दिन वह टाइम से पहले आ गया। मैं अपने बेड में अपने सहेली के पति से चुदवा रही थी। लण्ड मेरी चूत में घुसा था। मैं थोड़ा झिझकी पर वह बोला अरे तान्या तुम मस्ती से चुदवाओ। मैं यहीं सोफा पर बैठ करअपनी बीवी चुदवाऊंगा। अब तो मुझे अपनी बीवी चुदवाने में मज़ा आने लगा है। जब कोई मेरी बीवी की बुर लण्ड पेलता है तो मैं बहुत एन्जॉय करता हूँ। उसकी इस बात ने मुझे और चुदक्कड़ बना दिया।
मैं एक अव्वल दर्जे की चुदक्कड़ बीवी बन गयी जो कभी भी किसी से भी चुदवाने के लिए अपनी चूत खोल देती है।
एक दिन मैंने ठान लिया की अब मैं इसमें कुछ न कुछ नयापन जोडूँगी। मैं अपने कॉलेज के दिन याद करने लगी जब मैं २/३ लड़कों के लण्ड पकड़ा करती थी। लण्ड चूसती थी और चुपके चुपके उनसे चुदवाया करती थी। फिर मेरे मन में आया क्यों न २/३ शादी शुदा मर्दों के लण्ड पकड़ूं ? उनके लण्ड चूसूं, उनसे चुदवाऊँ ताकि सेक्स पहले की तरह फिर मज़ा देने लगे ? मेरे पति को भी किसी और की बीवी चोद कर मज़ा आएगा ? उसका भी लण्ड कोई और चूसे तो उसे और मज़ा आएगा। तब मैंने सोंच लिया की अब मैं किसी दिन अपने पति से किसी और की बीवी चुदवाऊँगी।
मैंने एक दिन अपने पति से खुल कर कहा - मेरे आगे दूसरे की बीवी चोदो तो उसे बिश्वास नहीं हुआ ? मैंने फिर जोर देकर कहा हां हां मैं सच में बड़े मन से कह रही हूँ की तुम मेरे सामने दूसरे की बीवी चोदो।
वह फिर बोला - ऐसे में तुम्हे बुरा नहीं लगेगा ?
मैंने जबाब दिया - बुरा क्यों लगेगा मैं देखना चाहती हूँ की तुम किसी और की बीवी कैसे चोदते हो ? और यह भी देखना चाहती हूँ की किसी दूसरे की बीवी तुमसे कैसे चुदवाती हैं। अगर वह मुझसे अच्छा चुदवा लेती है तो मैं उससे सीख लूंगी औरअगर मैं उससे अच्छा चुदवा लेती हूँ तो मैं उसे सिखा दूँगी ? अब देखो इसमें देर न करो। अपने किसी दोस्त की बीवी को पटाओ और उसे मेरे सामने चोदो।
मेरे तर्क का मेरे पति के पास कोई जबाब न था। वह थोड़ी देर तक सोंचने लगा। मैंने फिर कहा अरे इसमें सोंचने की क्या बात है। उठाओ फोन और अपंने किसी दोस्त को ड्रिंक्स पर बुला लो। ड्रिंक्स के साथ साथ उसका डिनर भी करवा दो। इसी बीच उससे खुल कर बातें करोऔर अपने दिल की बात कह दो ?
वह बोला हां यह सब तो ठीक है मगर कहीं उसने कह दिया की मैं तेरी बीवी चोदूँगा तो ?
मैंने हंस कर कहा तो क्या ? तुम भी चुदवा लेना अपनी बीवी ?
वह बोला तो क्या तुम उससे चुदवा लोगी ?
मैंने कहा अगर तुम कहोगे तो चुदवा लूंगी नहीं तो नहीं ?
अरे यार जब मैं उसकी बीवी चोदूँगा तो उसे अपनी बीवी चोदने से कैसे मना करूंगा ?
हां तो ठीक है कोई बात नहीं ऐसा ही हो जाने दो ? तुम उसकी बीवी चोदो वो तेरी बीवी चोदे ?
और अगर वह अपनी बीवी चुदवाने के लिए न तैयार हो तो ?
तो फिर मैं किसी और की बीवी को तैयार करुँगी और तुम भी किसी और दोस्त से बात करना । कोई न कोई तो तैयार हो ही जायेगा ?
हम दोनों की बात चीत से यह तो साफ़ हो गया की मेरी तरह वह भी बदलाव चाहता है। मैं अगर किसी के पति से चुदवाना चाहती हूँ तो मेरा पति भी किसी की बीवी चोदना चाहता है। अब मेरे सामने यह सवाल था की मैं किसकी बीवीअपने पति से चुदवाऊँ ?
मैं कई दिनों तक यही सोंचती रही। उधर मेरा पति भी अपने दोस्तों से बात चीत करता रहा लेकिन कुछ काम बन नहीं रहा था। एक दिन अचानक मेरी कॉलेज की दोस्त अदिति का फोन आ गया। वह बोली हाय तान्या तुम कहाँ हो ? मैंने जबाब दिया यार मैं यही मुंबई में हूँ। वह बोली यार मेरे पति का ट्रांसफर भी मुंबई में हो गया है और मैं यहाँ दादर में रहती हूँ। मैं तुमसे मिलना चाहती हूँ बोलो कैसे मिल सकती हो ? मैंने जबाब दिया यार मैं भी दादर के पास ही हूँ। ऐसा करो तुम सिद्ध विनायक मंदिर में आ जाओ मैं तुम्हे वहीँ मिल जाऊंगी। आधे घंटे के बाद हम दोनों मिलीं तो एक नयी ऊर्जा का संचार हुआ। वह मुझे अपने घर ले गयी और हम दोनों बैठ कर बातें करने लगीं। इतने में उसने ड्रिंक्स बन दिया। वह जानती थी की मैं कभी कभी शराब पी लेती हूँ और सिगरेट का मज़ा भी ले लेती हूँ। अतः हम दोनों सिगरेटऔर शराब दोनों साथ साथ पीने लगीं।
जब थोड़ा लुत्फ़ आने लगा तो मैंने कहा यार अदिति तू तो पहले से और खूबसूरत हो गयी है। तेरी चूचियाँ तो पहले से बड़ी बड़ी हो गईं है। ऐसा कह कर मैंने उसकी फोटो खींच ली -- वह बोली बड़ी तो तेरी भी हो गईं है यार और तू भी बड़ी सुन्दर निखर आई है। लगता है तेरे पति का लौड़ा तुझे बड़ा मस्त बना रहा है और उसने भी मेरी फोटो खींच ली -- हां यार बात तो सही है पर कब तक ऐसा होता रहेगा। मैं तो एक ही लौड़े से चुदवा चुदवा कर ऊब गयी हूँ -- यार सच बताऊँ ऊब तो मैं भी चुकी हूँ। सच बात तो यह कई खाना कितना भी स्वादिस्ट क्यों न हो बार बार वही खाने से मज़ा कम होता जाता है। मैं भी जब देखो तब अपने ही हसबैंड का लण्ड चूसा करती हूँ। अरे कभी किसी और का लण्ड चूसने को मिले तो मज़ा भी आये -- हां यार मेरे साथ भी यही है। मैं और एक बात बताऊँ ऐसा मेरे पति के साथ भी ऐसा ही हो रहा है। वह भी बिचारा ५ साल से एक ही बुर चोद रहा है। उसे भी अगर किसी और की बुर चोदने को मिले तो उसे भी अच्छे लगे -- हां तान्या तू सच कह रही है मेरा भी पति शायद यही सोंच रहा है। कभी कभी तो मुझे चोदते समय वह अपने दोस्तों की बीवियों का नाम लेने लगता है -- एक बात तो तय हैं की मर्दों को दूसरों की बीवियां अच्छी लगती हैं -- यार तो फिर यह भी बात तय है की बीवियों को भी पराये मरद अच्छे लगते हैं। कोई भी बीवी बहन चोद ऐसी नहीं होगी जो पराये मरद के लण्ड के बारे में न सोंचे -- तो फिर इसका मतलब की तुम मेरे पति के लण्ड के बारे में सोंचती होगी क्योंकि मैं तो तेरे पति के लण्ड के बारे में सोंच रही हूँ -- हां हां बिलकुल मैं तो तेरे पति का लण्ड लेना चाहती हूँ -- तो ले ले न मना कौन करती है यार -- पर यार मेरा पति तो आजकल टूर पर गया है -- कोई बात नहीं। मैं तो चाहती हूँ की तुम मेरे पति से चुदवा लो अदिति। जब तेरा पति आएगा तो मैं उससे चुदवा लूंगी -- वह हंस कर बोली मैं तेरे पति से चुदवाने के लिए तैयार हूँ लेकिन अब तू मेरे घर आई है तो फिर चुदवा कर जा न -- लेकिन तेरा पति तो है नहीं ? -- नहीं है तो क्या हुआ ? उसकी जगह कोई और तो है जिससे मैं चुदवाती हूँ। मैं उसे अभी बुला लेती हूँ और तेरी बुर चुदवा देती हूँ। देखो यार अब तुमसे क्या छुपाना मेरा पति जब जब टूर पर जाता है तो मैं किसी और को बुला कर चुदवाती हूँ। बिना लण्ड के मुझे नींद नहीं आती ?
मैं उसकी बात सुनकर दंग रह गयी। इतने में अचानक मेरे पति का फोन आ गया। वह बोला मैं घर पहुँच रहा हूँ तुम भी आ जाओ। मैंने कहा मुझे आने में एक घंटा लगेगा। वह बोला ठीक है। मैं बस जाने की तैयारी करने लगी। तब तक अदिति बोली अरे यार थोड़ा तो रुक जाओ। मैं उसके कहने पर रुक गयी। इतने में किसी ने डोर बेल बजायी। अदिति ने दरवाजा खोला मैं अंदर बैठी हुई थी। वह एक लड़के को लेकर मेरे पास आ गयी। मैंने जब उसे देखा तो मेरी चूत बहन चोद गीली हो गयी। लड़का एकदम जवां हैंडसम और गोरा चिट्टा था। तान्या ने उसे भी एक पैग शराब थमा दी और कहा तान्या देख यह मेरा बॉय फ्रेंड है रोहित। थोड़ी देर बाद वह रोहित का लण्ड ऊपर से ही सहलाने लगी। उसने कहा तान्या जब मेरा पति बाहर होता है तब मैं रोहित से चुदवाती हूँ और इसके दोस्तों से भी चुदवाती हूँ। उसने रोहित की पैंट खोल दी और लण्ड अंदर से बाहर निकाल लिया। मेरे नज़र लण्ड पर पड़ी तो मैं मस्त हो गयी। देखते ही देखते अदिति ने रोहित को पूरा नंगा कर दिया और उसका लण्ड मुझे पकड़ाते बोली अब आई हो तो लण्ड पीकर जाओ तान्या।
बहुत दिनों के बाद किसी पराये मर्द का लण्ड मेरे हाथ लगा था इसलिए मैं अपने आप को रोक न सकी। मैं बड़े प्यार से लण्ड हिलाने लगी और चूमने लगी तब तक उसने मुझे पूरी नंगी कर दिया। मेरा नंगा बदन देख कर लण्ड और फुफकार मारने लगा. मैं लौड़ा मुंह में डाल कर मस्ती से चूसने लगी। बहुत दिनों के बाद किसी और का लौड़ा चूसने में मुझे मज़ा आने लगा। मुझे जाने की जल्दी तो थी पर लौड़ा छोड़ने की जल्दी नहीं थी। मैं लण्ड के साथ साथ उसके बॉल्स भी चूसने लगी। मुझे टोपा चाटने में और चूसने में बड़ा अच्छा लग रहा था। मेरी चूत लण्ड के लिए बेताब हो रही थी लेकिन मेरे पास चुदवाने का टाइम नहीं था। तब तक अदिति भी मेरे साथ लण्ड चाटने लगी। टोपा से पेलहड़ तकऔर पेलहड़ से टोपा तक। मैं तो लण्ड मुंह में लेकर चूस लेती थी। मैं मनग हो गयी लण्ड में। समां गयी लण्ड में। मैं सोंचने लगी की इसी तरह अगर कई लण्ड मेरे सामने हो तो कितनाअच्छा लगेगा। रोहित भी सिस्याने लगा। मुझे लगा की अब वह निकलने वाला है। मैंने फिर मुंह खोल कर लण्ड मुठ्ठी में लिया और दनादन्न सड़का मारने लगी।
मेरे इस जोस को देख कर लण्ड और सख्त हो गया। उसका टोपा चमकने लगा और मैं लण्ड पीने के लिए व्याकुल होने लगी। तभी लण्ड ने ३/४ पिचकारी मेरे मुंह में ही गिरा दीं। सारा वीर्य मेरे मुंह में ही गिरा और मैं जबान निकाल कर सब चाट गयी। अदिति मुझे देख कर समझ गयी की मुझे पराये मर्दों के लण्ड से कितना प्यार हैऔर उनका कितना इंतज़ार है ? मैं और मेरा पति तुषार लगभग दोनों एक साथ ही घर पहुंचे। मैंने बात चीत में बताया की मेरी सहेलीअदिति तुमसे चुदवाने के लिए तैयार है। वह बोला अरे इतनी जल्दी कैसे तैयार हो गयी। मैंने कहा दरअसल वह भी वही सोंच रही थी जो हम लोग सोंच रहें थे। चूँकि वह मेरी कॉलेज की सहेली है इसलिए हमने खुल कर बात चीत की। मैंने रोहित का लण्ड पीने के अलावा सब बातें तुषार को बता दीं . जब मैंने अदिति की फोटो दिखाई तो वह उसे पाने के लिए बेताब हो गया और बोला यार अब जल्दी ही मिलवायों न मुझे उससे ? उधरअदिति का पति जय भी मेरी फोटो देख कर राज़ी हो गया जैसा की उसने मुझे बाद में बताया। फिर क्या हमने दोनों को अपने घर में डिनर पर बुला लिया।
शनिवार का दिन था। अदिति साड़ी पहन कर आई थी। उसका डीप नेक का स्लीवलेस ब्लाउज़ बड़ा सेक्सी लग रहा था। इधर में केवल एक मैक्सी पहन ली थी। अंदर से बिलकुल नंगी थी। मैंने ड्रिंक्स का इंतज़ाम पहले ही कर लिया था। मैं अदिति के पति जय को देख रही थी और मेरा पति अदिति को। अदिति तो अब तक बिलकुल रंडी हो चुकी थी। पर मैंने पांच साल के बाद उस दिन पहली बार किसी पराये पुरुष का लण्ड पकड़ा था. मैं जय के लण्ड के लिए व्याकुल हो रही थी। अदिति भी जल्दी से जल्दी मेरे पति का लण्ड अपने मुंह में लेना चाहती थी। इतने में मैं कुछ सामान लेने अंदर गयी। मेरे पीछे मेरा पति भी आ गया। मौका पाते ही मैंने कहा देखो तुषार मेरी जान आज तुम मेरे सामने जय की बीवी चोदो। उसे खूब कस कस के चोदो। उसकी चूत का हलवा बन दो।वैसे ही चोदो जैसे तुम मुझे चोदते हो ? देखो तेरे लण्ड में तनाव हमेशा बना रहना चाहिए , शर्माना नहीं और न ही किसी बात का संकोच करना ? तुम जितनी मस्ती से उसकी बीवी चोदोगे उतनी ही मस्ती मेरे अंदर भी पहुँच जाएगी। मैं तुम्हे घोड़े की तरह अदिति की बुर चोदते हुए देखना चाहती हूँ। एक बार मेरा पति किसी की बीवी की बुर में लौड़ा पेल दे बस मेरी तमन्ना पूरी हो जाएगी। फिर तो मेरा रास्ता खुल जायेगा। मैं पति के सामने भी और पीठ पीछे भी दना दन्न चुदवाती रहूंगी और पराये मर्दों के लण्ड का मज़ा लेती रहूंगी।
मैं बाहरआ गयी और सबके साथ बैठ कर दारू पीने लगी. खूब गहरी बातें होने लगीं। नशा चढ़ने लगा। तब तक अदिति बोली यार तुषार आज तो मैं तुमसे चुदवाने आई हूँ। आज तुम मुझे बड़े सेक्सी लग रहे हो। मैं तेरे लण्ड की प्यासी हूँ। मुझे लौड़ा दिखाओ न प्लीज ? उसे देख कर मेरे अंदर भी जोश आ गया। मैंने कहा यार जय तुम बड़े हैंडसम हो। तेरा लौड़ा भी हैंडसम होगा। मैं अभी तेरा लौड़ा देखना चाहती हूँ। शराब का नशा भी मजे दार चीज है की इसके बहाने तुम सब कुछ खुल्लम खुल्ला कह सकते हो। यही यहाँ पर होने लगा। मैंने भी कहा यार जय सामने मेरी बीवी चोदो। जय बोला ठीक है पर तुम मेरी मेरे सामने मेरी बीवी चोदो। मैंने जय का लौड़ा खोल कर बाहर निकाल लिया और अदिति ने मेरे मियां तुषार का लण्ड। मैंने लण्ड की कई बार चुम्मी ली। उसका टोपा खूब चूमा और पलहड़ भी। उसने भी मेरी चूत सहलाई मेरी चूचियाँ चूमीं और मेरी जांघें सहलाने लगा। फिर मैंने अपनी मैक्सी उतार दी। मैं मादर चोद बिलकुल नंगी हो गयी। उधर वो दोनों भी नंगे हो गए। मेरे हाथ मेंअदिति के पति का लण्ड था अदिति के हाथ में मेरे पति का लण्ड।
मैं गिद्ध की निगाह लगाए हुए थी की कब मेरा पतिअदिति की बुर में लौड़ा पेलता है। हाय राम वह मौक़ा आ भी गया। मेरे पति ने अदिति की बुर में लौड़ा टिकाया और भक्क से एक ही बार में पेल दिया। फिर वह मेरे कहने के अनुसार उसकी बुर चोदने लगा और मैं खुश होने लगी। तब तक मेरी भी चूत बुरी तरह चुदासी हो चुकी थी। मैं भी जय से चुदवाने लगी।उसका लौड़ा मुझे पसंद आ गया और मैं मस्त हो गयी। अब घर में दोनों मरद एक दूसरे की बीवी चोदने में जुट गये। मेरा तो यह पहले मौका है जब मैं शादी के बाद अपने पति के आगे किसी और के पति से चुदवा रही हूँ। मैं मन में बहुत खुश हो रही थी और मेरी जवानी बड़ी अच्छी तरह से कटेगी। मैं यह भी सोंचने लगी की अब मैं किस किस से चुदवाऊँ ? जय का लौड़ा मेरी चूत के परखच्चे उड़ा रहा था और मैं एक मस्त कॉल गर्ल की तरह चुदवा रही थी। किसी ने सच ही कहा है की पराये मरद का लण्ड बड़ा मज़ा देता है। उधर मेरा पति भी मस्ती सेअदिति की बुर ले रहा था। वह भी बोला यार अब मुझे मालूम हुआ किसी दूसरे की बीवी चोदने में कितना मज़ा आता है।
थोड़ी देर में मैं पीछे से चुदवाने लगी। मुझे इस स्टाइल में लौड़ा घुसेड़वाने में अच्छा लगता है। मैं कुतिया की तरह चुद रही थी। उधरअदिति मेरे पति के लण्ड पर बैठ कर चुदवा रही थी। मैं सच में चाहती हूँ की मेरा पति कई लोगों की बीवियां चोदे और मैं उन सब लोगों से भकाभक चुदवाऊँ ? मेरे मन के ख्याल आया की इस खेल में कौन कौन कपल शामिल किये जाएँ ? मैं धकाधक चुदवा भी रही थी और सोंच भी रही थी। इतने में जय बोला तान्या भाभी अब मैं निकलने वाला हूँ। बस मैं घूम गयी और लण्ड मुठ्ठी में लेकर सड़का मारने लगी। मेरा मुंह खुला था। जय बोल रहा था, हाय भाभी और जल्दी जल्दी मारो सड़का, और तेज, हां और तेज, आ हां, ओ, हो, वावो, हां भाभी और तेज क्या बात है, भाभी तेरे हाथ में जादू है, ओ हो, आ, ओ ,हो, लो मैं खलास हो गया भाभी। उसके लण्ड में मेरे मुंह में पिचकारी छोड़ दी और मैं झड़ता हुआ लण्ड चाटने लगी। मैं तो बहन चोद पहले ही झड़ चुकी थी। मुझे एक अनोखी सन्तुष्टि मिली।
उसके बाद मैंने कई कपल के साथ चोदा चोदी की। मेरे पति ने मेरे आगे कई लोगों की बीवियां चोदी और मैंने अपने पति के आगे कई लोगों से चुदवाया। हम दोनों बहुत बेशर्म और निर्लज्ज हो चुके थे। धीरे धीरे मैं भी अदिति की राह पर चलने लगी। जब मेरा पति कहीं टूर पर जाता तो मैं यहाँ गैर मर्दों से दिन रात चुदवाती। मेरा यह सिलसिला कई वर्षों तक चलता रहा। एक दिन वह टाइम से पहले आ गया। मैं अपने बेड में अपने सहेली के पति से चुदवा रही थी। लण्ड मेरी चूत में घुसा था। मैं थोड़ा झिझकी पर वह बोला अरे तान्या तुम मस्ती से चुदवाओ। मैं यहीं सोफा पर बैठ करअपनी बीवी चुदवाऊंगा। अब तो मुझे अपनी बीवी चुदवाने में मज़ा आने लगा है। जब कोई मेरी बीवी की बुर लण्ड पेलता है तो मैं बहुत एन्जॉय करता हूँ। उसकी इस बात ने मुझे और चुदक्कड़ बना दिया।
मैं एक अव्वल दर्जे की चुदक्कड़ बीवी बन गयी जो कभी भी किसी से भी चुदवाने के लिए अपनी चूत खोल देती है।
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