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सब मिलकर एक साथ बीवी बदलकर चोदो - Biwiyon ko badalkar chodne ki chudai
सब मिलकर एक साथ बीवी बदलकर चोदो - Biwiyon ko badalkar chodne ki chudai , group sex hindi stories , दुसरे की पत्नी चोदकर मजे करो , बेगानी बीवी की चूत चुदाई , चुदवाने के नज़ारे , गांड चूत बुर भोसड़ा चूतड़ फुद्दी सांचा चुक्कड़ बनो , चुदती रहो चुदवाती रहो.
शनिवार का दिन था। मेरी मैरिज़ एनवर्सरी थी। मैंने सोंचा की ऐसे मौके पर क्यों न एक छोटी सी पार्टी रख ली जाए। मैंने अपनी बीवी से बात की तो वह मान गयी तो मैंने अपने कुछ दोस्तों को अपनी अपनी बीवी के साथ डिनर पर बुला लिया । जब सब लोग इकठ्ठा हो गए तो हमने ड्रिंक्स चालू कर दी। सब लोग मजे से दारू पीने लगे। सबसे मजे की बात यह थी की सबकी बीवियां भी सबके साथ दारू पीने लगीं। धीरे धीरे मुझे मालूम हुआ की बीवियां दारू पीने में मर्दों से आगे हैं। साथ साथ बातें भी हो रहीं थीं। लोग दिल खोल कर बातें कर रहे थे। बीवियां भी खुल कर बोल रहीं थीं। कहतें हैं की शराब के नशे में आदमी सच बोलता है और दिल से बोलता है।
शनिवार का दिन था। मेरी मैरिज़ एनवर्सरी थी। मैंने सोंचा की ऐसे मौके पर क्यों न एक छोटी सी पार्टी रख ली जाए। मैंने अपनी बीवी से बात की तो वह मान गयी तो मैंने अपने कुछ दोस्तों को अपनी अपनी बीवी के साथ डिनर पर बुला लिया । जब सब लोग इकठ्ठा हो गए तो हमने ड्रिंक्स चालू कर दी। सब लोग मजे से दारू पीने लगे। सबसे मजे की बात यह थी की सबकी बीवियां भी सबके साथ दारू पीने लगीं। धीरे धीरे मुझे मालूम हुआ की बीवियां दारू पीने में मर्दों से आगे हैं। साथ साथ बातें भी हो रहीं थीं। लोग दिल खोल कर बातें कर रहे थे। बीवियां भी खुल कर बोल रहीं थीं। कहतें हैं की शराब के नशे में आदमी सच बोलता है और दिल से बोलता है।
इस महफ़िल में मैं था अमित मेरी बीवी नमिता, राघव उसकी बीवी बरखा, संजय उसकी बीवी नीलू और अरुण उसकी बीवी नेहा। चार कपल्स का ग्रुप था और मौज़ मस्ती जोरों पर थी। हम सबकी उम्र 28 से 32 के बीच की थी। राघव की बीवी जींस और टॉप पहन कर आयी थी। उसकी जींस लो वेस्ट की थी। ऐसा लग रहा था की अगर इसे एक इंच और नीचे खसका दिया जाए तो उसकी झांटें दिखने लगेंगीं। लेकिन वह सच में बहुत हॉट लग रही थी। मेरा भी दिल उस पर आ गया था। संजय की बीवी नीलू तो साड़ी में थी। साड़ी के नीचे उसकी एक छोटी सी ब्रा थी लेकिन वह बहुत ही टाइट थी. उसकी बड़ी बड़ी चूँचियाँ ब्रा में समा नहीं रहीं थीं। चूँचियाँ बाहर निकलने के लिए बेताब हों रहीं थीं और हम मर्दों की जिगाह वहीँ अटकी हुई थी। नेहा भाभी स्लीवलेस सलवार सूट में थी। वह भी गज़ब की खूब सूरत लग रहीं थी। मेरी बीवीं ने तो सिर्फ एक गाउन पहन लिया था बस। यह बात जरूर है की उसकी चूँचियाँ बड़ी बड़ी हैं और वो दोनों ऊपर से मालूम भी पड़ रही थीं। मैं जब जब उसे चोदता हूँ तो उसकी चूँचियाँ जरूर चोदता हूँ।
शराब पीते पीते सबके मन में कुछ न कुछ चल रहा था। मियां बीवी सब कुछ न कुछ सोंच रहे थे। किसी को कानों कान खबर नहीं थी की यहाँ अभी आधे घंटे के बाद लोग एक दूसरे की बीवी चोदने वाले हैं। हमको भी नहीं मालूम था। लेकिन मन तो मन है वह कुछ न कुछ हरदम सोंचा करता है। सबसे पहले मैं बताता हूँ। मैं सोंच रहा था की बरखा भाभी बड़ी हॉट लग रही है यार ? मन करता है की इसकी जींस खोल कर उसकी बुर देखूं और उसमे पेल दूँ अपना लण्ड फिर पटक पटक चोद डालू इसकी चूत। उधर नीलू भाभी के मुंह में घुसा दूँ लण्ड। नेहा भाभी अगर मेरा लण्ड पकड़ ले तो मज़ा ही आ जाये ?
राघव सोंच रहा था - यार मन करता ही की मैं अमित की बीवी अभी सबके सामने चोद दूँ। संजय की बीवी की गांड में लण्ड पेलने का मन कर रहा है। उधर नेहा भाभी के मुंह से गालियां सुनने का मन कर रहा है वह भी लण्ड की गालियां।
संजय मन में कह रहा था - यार यार ये अमित राघव और अरुण कितने लकी हैं। देखो न इनकी बीवियां कितनी कितनी सुन्दर हैं। मन करता है की मैं एक एक करके इन तीनो की अभी यहनि चोद डालूं। घुसेड़ दूँ अपना लण्ड इनके मुंह में इनकी चूत और चूँचियों में ?
अरुण के मन में था यार मन करता है की मैं बरखा भाभी , नमिता भाभी और नीलू भाभी के आगे नंगा हो जाऊं और इन सबको को भी नंगी कर दूं। इन्हे चोदने का मन हो रहा है। ये सब मेरा लण्ड चूसेंगी खूब और पेलवायेगी भी खूब। बड़ी मस्त बीवियां इन लोगों की यार।
उधर बीवियों के मन में भी कुछ कुछ हो रहा था। मेरी बीवी सोंच रही थी की आज मौक़ा है। मैं तो अभी इन सबके लण्ड पकड़ कर मुंह में ले लूंगी। बरखा भाभी सोंच रहीं थीं हाय दईया इन सबके लण्ड कितने बड़े बड़े होंगें। मन करता है की मैं इन सबको नंगा कर दूँ और लौड़ा मुंह में और बुर में घुसेड़ लूं। नीलू सोंच रही थी की लौड़ा तो इन लोगों के भी बड़े बड़े होंगे। मैं तो इन्हे अभी नंगा करके सबके लण्ड सड़का मार मार के पी लूं। नेहा सोंच रही थी की ये सब अगर मिलकर मुझे चोदे तो कितना अच्छा होगा । मैं तो इन तीनो से एक साथ चुदवा भी लूंगी और अच्छी तरह चुदवा लूंगी। चूत में भी लण्ड लूंगी और बुर में भी। अपनी चूँचियाँ भी चुदवा लूंगी और गांड भी मरवा लूंगी। मेरा तो मन हैं की मैं अभी इन सबके आगे नंगी हो जाऊं। अगर कोई आगे बढ़ कर मुझे नंगी कर दे तो मज़ा आ जाए ? नशा और चढ़ा तो खुल कर बातें होने लगीं।
राघव बोला - यार अमित एक बात बताऊँ मुझे नमिता भाभी बड़ी अच्छी और बड़ी हॉट लग रहीं हैं।
मैंने कहा - अच्छा, अगर तिझे मेरी बीवी हॉट लग रही है तो ले जाओ न इसे। मैं कुछ नहीं कहूंगा। लेकिन हां अपनी बीवी बरखा भाभी को यही छोड़ जाओ क्यंकि मुझे तेरी बीवी बहुत हॉट लग रही है।
सब लोग यह सुनकर हंसने लगे।
संजय बोला - यार कुछ भी हो सच तो यह है की यहाँ सबकी बीवियां हॉट हैं। मेरा तो दिल नमिता भाभी बरखा भाभी और नेहा भाभी पर आ गया है।
अरुण बोला - अच्छा, यार दिल ही देना मेरी बीवी को। कुछ और न पकड़ा देना ?
मेरी बीवी ने कहा - अरे ये बात तो जग ज़ाहिर है की मर्दों को दूसरों की बीवियां ज्यादा अच्छी लगती हैं।
बरखा भाभी ने कहा - मर्दों को ही नहीं यार ? हम बीवियों को भी पराये मरद बड़े अच्छे लगतें हैं। मेरा तो मन है की मैं तेरे मरद को लेकर उड़ जाऊं ?
तब तक नेहा भाभी ने कहा - अच्छा ये बताओ बरखा तुम इसके मरद को लेकर उड़ जाओगी तो क्या करोगी ? वह बोली - रात भर चुदवाऊंगी इससे और क्या ?
सबने खूब ठहाका लगाया।
इतने में नीलू ने कहा - तो फिर हम लोग क्या तुमसे कम हैं। हम किसी के मरद को लेकर चली जाऊँगी और चुदवाऊंगी।
जब एक एक करके सबके दिल की बातें बाहर आने लगी तो मेरी बीवी ने कहा - यार देखो आज मौक़ा है। हम सब मूड में भी हैं और तैयार भी हैं। नशे में भी है और सेक्स करने के लिए उत्तेजित भी हैं। इसलिए मैं इन मर्दों से कहती हूँ की तुम लोग एक दूसरे की बीवी चोदो, यहीं चोदो और सबके सामने चोदो। हो जाओ थोड़ी देर के लिए बेशरम ? आजकल बीवियों की अदला बदली खूब हो रही है। मेरी सभी सहेलियां यह करतीं हैं और अपने हसबैंड के आगे दूसरे हसबैंड से चुदवाती हैं। हसबैंड भी एक दूसरे की बीवी चोदते हैं। जब सारी दुनिया एन्जॉय कर रही है तो हम लोग क्यों न करें ? ,,,,,,,,,,,
,थोड़ी देर के लिए एकदम सन्नाटा हो गया लेकिन फिर बरखा भाभी बोली हां मेरा भी यही कहना है मैं तो तैयार हूँ। अरुण बोला मैं भी तैयार हूँ और उसकी बीवी भी हां में हां मिलाने लगी। फिर क्या सब लोग तैयार हो गए। मैंने देखा की इससे सबके चेहरे खिल गए। फिर मेरी बीवी ने पहल की और अपनी बाहें राघव के गले में डाल दीं और उसके गाल चुम लिए। तब मैं भी बरखा भाभी की तरफ बढ़ा और वह भी मुझसे लिपट गयी। उधर संजय की बीवी नीलम अरुण से चिपक गयी और अरुण की बीवी नेहा संजय से चिपक गयी। दोनों बीवियां बहुत खुश थी। माहौल गरमाने लगा। लोग एक दूसरे की बीवी की चूँचियाँ ऊपर से दबाने लगे और बीवियां भी एक दूसरे के पति का लण्ड ऊपर से ही टटोलने लगीं। सभी उत्तेजित थे और उत्साहित थे।
सबके मन में आज के मौके का पूरा फ़ायदा उठाने का था। कोई भी इस खेल से चूकना नहीं चाहता था। बीवियां तो बड़े शौक से पराये मरद से चिपक का मज़ा लेने लगीं। धीरे धीरे सबके बदन से कपड़े उतरने लगे। मैंने राघव की बीवी बरखा भाभी की चूचियां सबसे खोल कर बाहर निकाल लीं और उन्हें प्यार से चूमने लगा। उसके निपल्स चूमने लगा चूसने लगा। , मुझे बहुत अच्छा लग रहा था। / तभी मैंने देखा की राघव भी मेरी बीवी की चूँचियाँ चुम रहा है और चूस रहा है। आज पहली बार मुझे अपनी बीवी को किसी दूसरे मरद के नंगी होने में बड़ा मज़ा आ रहा था। उधर संजय नेहा भाभी की चूँचियाँ खोल कर एन्जॉय करने लगा और अरुण संजय की बीवी नीलम की चूँचियाँ का मज़ा लेने लगा।
मैंने बरखा भाभी को एकदम नंगी कर दिया। उसे नंगी दख कर मेरे लण्ड में जबरदस्त उछाल आ गया। भाभी ने उसे पकड़ लिया तो लण्ड और तन कर खड़ा हो गया। मैं भी तब तक एकदम नंगा हो चुका था। मैं पहली बार किसी परायी बीवी को नंगी नंगी अपने बाँहों में लिए हुए था। उधर मेरी बीवी भी नंगी हो चुकी थी। राघव उसे अपनी गोद में बैठा कर मज़ा ले रहा था। उसके पूरे नंगे बदन पर अपना हाथ फिरा रहा था। संजय अरुण की नंगी बीवी के बदन से खेलने लगा और अरुण संजय की नंगी बीवी के साथ खेलने लगा। अब चारो कपल नंगे थे। हम लोग एक दूस्सरे की नंगी बीवी देख कर मज़ा लेने लगे और बीवियां पराये मर्दों को नंगे देख कर मज़ा करने लगीं। मेरी बीवी राघव का लण्ड मुंह में लेकर चूसने लगी और उसकी बीवी मेरा लण्ड चूसने लगी। संजय की बीवी अरुण का लौड़ा मुंह में भर कर चूमने चाटने लगी तो अरुण की बीवी संजय का लौड़ा मुंह फैलाकर अंदर घुसेड़ा और उसे चाटने चूसने लगी।
मेरी बीवी नमिता बोली - हाय बरखा, मुझे तेरे पति का लण्ड बड़ा अच्छा लग रहा है। कितना मोटा और हैंडसम है तेरे पति का लण्ड ? मन करता है की इसे कच्चा चबा जाऊं।
बरखा भाभी ने कहा - तो फिर चबा जाओ न मेरे पति का लण्ड। मुझे तो तेरे मरद का लौड़ा बहुत भा गया है। ये भी बहुत मोटा और सख्त लौड़ा है एकदम भाला जैसे। इसका नुकीला सुपाड़ा मुझे पसंद आ गया है यार ?
नीलू बोली - वॉवो नेहा तेरे मियां का लण्ड भोसड़ी का बड़ा मस्त है यार। बिलकुल मेरे जीजू के लण्ड की तरह है इसका लण्ड। इसका गोल गोल सुपाड़ा और एकदम लोहे के रॉड जैसा लण्ड मुझे बहुत अच्छा लग रहा है। आज ये मेरी चूत का अच्छी तरह बाजा बजायेगा ?
नेहा बोली - तो फिर क्या मज़ा करो न मेरे पति के लण्ड के साथ। मुझे तो तेरा मरद का लौड़ा एकदम तोप लग रहा है और लण्ड का सुपाड़ा तो बिलकुल तोप का गोला लग रहा है। अब ये तोप जब मेरी चूत में घुसेगा तो बुर चोदी चूत क्या उसकी माँ का भोसड़ा भी फट जायेगा।
इस तरह की बातों से सबके लण्ड और सख्त होकर खड़े हो गए। मैंने बरखा की टांगें फैला दीं और उसकी चूत पर अपना लण्ड टिका दिया। वह बोली अरे यार अब देर न करो जल्दी पेलो लण्ड और चोदो मुझे। मैंने भी भक्क से लौड़ा घुसा दिया और चोदने लगा। यह पहला मौका था जब की मैंने किसी और की बीवी चोदना शुरू किया। उधर राघव भी मेरी बीवी चोदने के लिए अपना लौड़ा उसकी बुर में पेल दिया। वह भी मेरी बीवी अपनी बीवी समझ कर चोदने लगा। जाने क्यों आज मुझे यह देख कर बुरा नहीं लग रहा था की मरी बीवी कोई और चोद रहा है। तब तक मेरे सामने ही अरुण संजय की बीवी चोदने लगा और संजयअरुण की बीवी। वो दोनों भी बहुत खुश थे एक दूसरे की बीवी चोदने में। बीवियां भी बड़ी खुश दिख रहीं थीं एक दूसरे के हसबैंड से चुदवाने में।
राघव ने मेरी बीवी नमिता से पूंछा - भाभी तुम्हे कैसा फील हो रहा है मुझसे चुदवाकर ?
वह बोली - आज मुझे चुदाई का असली मज़ा आ रहा है और मुझे अपने हसबैंड को दूसरे की बीवी चोदते हुए देखने में बुरा भी नहीं लग रहा है। बल्कि मैं तो चाहती हूँ की मेरा पति इसी तरह लोगों की बीवियां चोदे। ,
अब चारों बीवियों की चूत का बाजा बजने लगा। मैंने देखा की मेरी बीवी राघव से जितने मन से चुदवा रही है उतने मन से उसने मुझसे कभी नहीं चुदवाया। इसका मतलब यह है की बीवियां पराये मरद से चुदवाने में ज्यादा इंटरेस्ट लेतीं हैं। ज्यादा मजे करतीं हैं और मस्त रहतीं हैं। वैसे भी मरद भी दूसरों की बीवियां चोदने में बड़े उत्तेजित रहतें हैं।
अरुण ने कहा - यार संजय मुझे तेरी बीवी चोदने में स्वर्ग का मज़ा मिल रहा है तो संजय ने कहा - मुझे भी तेरी बीवी चोदने खूब मज़ा आ रहा है और मैं आगे भी चोदता रहूंगा।
पूरा कमरा चुदाई की आवाज़ों से गूंजने लगा। मुझे ऐसी आवाज़ें बड़ी अच्छी लग रहीं थीं। मुझे लगा की अब
सबके साथ ही चुदाई की जाए तो अच्छा रहेगा। मैं फिर बरखा भाभी की बुर पीछे से चोदने लगा तो राघव भी मेरी बीवी की बुर पीछे चोदने लगा। उधर संजय और अरुण दोनों एक दूसरे की बीवी को अपने अपने लण्ड पर बैठा कर चोद रहे थे। चुदाई की एक और मजेदार बात थी की सब लोग सबकी चुदाई देख देख कर एन्जॉय कर रहे थे। एक पर एक की चुदाई में ये सब देखने को नहीं मिलता ? मैं तो बरखा की बुर चोदने में कोई कसर छोड़ नहीं रहा था और राघव भी मेरी बीवी को खूब मस्ती से पटक पटक चोद रहा था। नतीजा यह हुआ की मेरी बीवी की बुर ढीली हो गयी और वह घूम कर राघव के लण्ड का सड़का मारने लगी। तब तक बरखा भाभी भी मेरे लण्ड का सड़का मारने लगी और मैं थोड़ी देर में उसके मुंह में ही झड़ गया। तब मैंने देखा की मेरी बीवी राघव का झड़ता हुआ लण्ड चाट रही है। उधर संजय का झड़ता हुआ लण्ड अरुण की बीवी चाट रही है और अरुण का झड़ता हुआ लण्ड संजय की बीवी चाट रही है। उसके बाद हम सबने नंगे नंगे ही खाना खाया और खूब सबकी बीवियों से गन्दी गन्दी बातें कीं । दूसरी पारी में संजय की बीवी नीलू ने मेरा लण्ड पकड़ लिया और मेरी बीवी ने संजय का लण्ड। उधर राघव का लण्ड अरूण की बीवी नेहा ने अपने हाथ में लिया और अरुण का लण्ड राघव की बीवी बरखा पकड़ कर हिलाने लगी। इस बार चुदाई के पार्टनर बदल गए। बीवियों के हाथ में एक एक नया लण्ड आ गया और मर्दों के हाथ में नयी नयी चूँचियाँ और चूत। मज़ा दूना हो गया।
नीलू भाभी मेरा लण्ड चाटने लगीं तो मैं उसकी बुर चाटने लगा। संजय मेरी बीवी की बुर चाटने लगा तो मेरी बीवी उसका लण्ड। राघव और अरुण भी एक दूसरे की बीवी की बुर चाटने में जुट गए और उनकी बीवियां भी एक दूसरे के पति का लण्ड चाटने में ? मैं आज बहुत ही खुश था और मन ही मन अपनी बीवी की तारीफ कर रहा था की उसने हम को दूसरे की बीवी चोदने के लिए उकसाया। मैं फिर नीलू भाभी की बुर चोदने लगा और संजय मेरी बीवी चोदने लगा। इस बार मुझे ज्यादा मज़ा आ रहा था। मैं बड़ी मस्ती से संजय से अपनी बीवी चुदवाने लगा। अरुण और राघव भी अपनी अपनी बीवी एक दूसरे से चुदवाने लगे। आज हम सबको अपनी अपनी बीवी चुदवाने का मज़ा भी मिल रहा था । विदेशों में तो लोग अपनी अपनी चुदवाने के लिए बड़े बड़े क्लबों में जातें हैं और पराये मर्दों को अपने घर भी बुलातें हैं। बीवियां भी अपनी सहेलियों की बुर अपने अपने हसबैंण्ड से चुदवाकर कर मज़ा करती हैं। ये तो लण्ड और चूत का खेल है इसे कई तरीकों से खेला जा सकता है।
आखिरी पारी में मैंने अरुण की बीवी चोदी और अरुण ने मेरी बीवी चोदी। संजय ने लण्ड राघव की बीवी की बुर में पेल दिया तो राघव ने अपना लण्ड संजय की बीवी की बुर में घुसा दिया। इस तरह हम सबने एक दूसरे की बीवी रात भर चोदी और सुबह चलते चलते यह वादा किया की अगले शनिवार को इस तरह की चुदाई फिर होगी।
=०=०=०=०=०= समाप्त
Tags: सब मिलकर एक साथ बीवी बदलकर चोदो - Biwiyon ko badalkar chodne ki chudai , group sex hindi stories , दुसरे की पत्नी चोदकर मजे करो , बेगानी बीवी की चूत चुदाई , चुदवाने के नज़ारे , गांड चूत बुर भोसड़ा चूतड़ फुद्दी सांचा चुक्कड़ बनो , चुदती रहो चुदवाती रहो.
शराब पीते पीते सबके मन में कुछ न कुछ चल रहा था। मियां बीवी सब कुछ न कुछ सोंच रहे थे। किसी को कानों कान खबर नहीं थी की यहाँ अभी आधे घंटे के बाद लोग एक दूसरे की बीवी चोदने वाले हैं। हमको भी नहीं मालूम था। लेकिन मन तो मन है वह कुछ न कुछ हरदम सोंचा करता है। सबसे पहले मैं बताता हूँ। मैं सोंच रहा था की बरखा भाभी बड़ी हॉट लग रही है यार ? मन करता है की इसकी जींस खोल कर उसकी बुर देखूं और उसमे पेल दूँ अपना लण्ड फिर पटक पटक चोद डालू इसकी चूत। उधर नीलू भाभी के मुंह में घुसा दूँ लण्ड। नेहा भाभी अगर मेरा लण्ड पकड़ ले तो मज़ा ही आ जाये ?
राघव सोंच रहा था - यार मन करता ही की मैं अमित की बीवी अभी सबके सामने चोद दूँ। संजय की बीवी की गांड में लण्ड पेलने का मन कर रहा है। उधर नेहा भाभी के मुंह से गालियां सुनने का मन कर रहा है वह भी लण्ड की गालियां।
संजय मन में कह रहा था - यार यार ये अमित राघव और अरुण कितने लकी हैं। देखो न इनकी बीवियां कितनी कितनी सुन्दर हैं। मन करता है की मैं एक एक करके इन तीनो की अभी यहनि चोद डालूं। घुसेड़ दूँ अपना लण्ड इनके मुंह में इनकी चूत और चूँचियों में ?
अरुण के मन में था यार मन करता है की मैं बरखा भाभी , नमिता भाभी और नीलू भाभी के आगे नंगा हो जाऊं और इन सबको को भी नंगी कर दूं। इन्हे चोदने का मन हो रहा है। ये सब मेरा लण्ड चूसेंगी खूब और पेलवायेगी भी खूब। बड़ी मस्त बीवियां इन लोगों की यार।
उधर बीवियों के मन में भी कुछ कुछ हो रहा था। मेरी बीवी सोंच रही थी की आज मौक़ा है। मैं तो अभी इन सबके लण्ड पकड़ कर मुंह में ले लूंगी। बरखा भाभी सोंच रहीं थीं हाय दईया इन सबके लण्ड कितने बड़े बड़े होंगें। मन करता है की मैं इन सबको नंगा कर दूँ और लौड़ा मुंह में और बुर में घुसेड़ लूं। नीलू सोंच रही थी की लौड़ा तो इन लोगों के भी बड़े बड़े होंगे। मैं तो इन्हे अभी नंगा करके सबके लण्ड सड़का मार मार के पी लूं। नेहा सोंच रही थी की ये सब अगर मिलकर मुझे चोदे तो कितना अच्छा होगा । मैं तो इन तीनो से एक साथ चुदवा भी लूंगी और अच्छी तरह चुदवा लूंगी। चूत में भी लण्ड लूंगी और बुर में भी। अपनी चूँचियाँ भी चुदवा लूंगी और गांड भी मरवा लूंगी। मेरा तो मन हैं की मैं अभी इन सबके आगे नंगी हो जाऊं। अगर कोई आगे बढ़ कर मुझे नंगी कर दे तो मज़ा आ जाए ? नशा और चढ़ा तो खुल कर बातें होने लगीं।
राघव बोला - यार अमित एक बात बताऊँ मुझे नमिता भाभी बड़ी अच्छी और बड़ी हॉट लग रहीं हैं।
मैंने कहा - अच्छा, अगर तिझे मेरी बीवी हॉट लग रही है तो ले जाओ न इसे। मैं कुछ नहीं कहूंगा। लेकिन हां अपनी बीवी बरखा भाभी को यही छोड़ जाओ क्यंकि मुझे तेरी बीवी बहुत हॉट लग रही है।
सब लोग यह सुनकर हंसने लगे।
संजय बोला - यार कुछ भी हो सच तो यह है की यहाँ सबकी बीवियां हॉट हैं। मेरा तो दिल नमिता भाभी बरखा भाभी और नेहा भाभी पर आ गया है।
अरुण बोला - अच्छा, यार दिल ही देना मेरी बीवी को। कुछ और न पकड़ा देना ?
मेरी बीवी ने कहा - अरे ये बात तो जग ज़ाहिर है की मर्दों को दूसरों की बीवियां ज्यादा अच्छी लगती हैं।
बरखा भाभी ने कहा - मर्दों को ही नहीं यार ? हम बीवियों को भी पराये मरद बड़े अच्छे लगतें हैं। मेरा तो मन है की मैं तेरे मरद को लेकर उड़ जाऊं ?
तब तक नेहा भाभी ने कहा - अच्छा ये बताओ बरखा तुम इसके मरद को लेकर उड़ जाओगी तो क्या करोगी ? वह बोली - रात भर चुदवाऊंगी इससे और क्या ?
सबने खूब ठहाका लगाया।
इतने में नीलू ने कहा - तो फिर हम लोग क्या तुमसे कम हैं। हम किसी के मरद को लेकर चली जाऊँगी और चुदवाऊंगी।
जब एक एक करके सबके दिल की बातें बाहर आने लगी तो मेरी बीवी ने कहा - यार देखो आज मौक़ा है। हम सब मूड में भी हैं और तैयार भी हैं। नशे में भी है और सेक्स करने के लिए उत्तेजित भी हैं। इसलिए मैं इन मर्दों से कहती हूँ की तुम लोग एक दूसरे की बीवी चोदो, यहीं चोदो और सबके सामने चोदो। हो जाओ थोड़ी देर के लिए बेशरम ? आजकल बीवियों की अदला बदली खूब हो रही है। मेरी सभी सहेलियां यह करतीं हैं और अपने हसबैंड के आगे दूसरे हसबैंड से चुदवाती हैं। हसबैंड भी एक दूसरे की बीवी चोदते हैं। जब सारी दुनिया एन्जॉय कर रही है तो हम लोग क्यों न करें ? ,,,,,,,,,,,
,थोड़ी देर के लिए एकदम सन्नाटा हो गया लेकिन फिर बरखा भाभी बोली हां मेरा भी यही कहना है मैं तो तैयार हूँ। अरुण बोला मैं भी तैयार हूँ और उसकी बीवी भी हां में हां मिलाने लगी। फिर क्या सब लोग तैयार हो गए। मैंने देखा की इससे सबके चेहरे खिल गए। फिर मेरी बीवी ने पहल की और अपनी बाहें राघव के गले में डाल दीं और उसके गाल चुम लिए। तब मैं भी बरखा भाभी की तरफ बढ़ा और वह भी मुझसे लिपट गयी। उधर संजय की बीवी नीलम अरुण से चिपक गयी और अरुण की बीवी नेहा संजय से चिपक गयी। दोनों बीवियां बहुत खुश थी। माहौल गरमाने लगा। लोग एक दूसरे की बीवी की चूँचियाँ ऊपर से दबाने लगे और बीवियां भी एक दूसरे के पति का लण्ड ऊपर से ही टटोलने लगीं। सभी उत्तेजित थे और उत्साहित थे।
सबके मन में आज के मौके का पूरा फ़ायदा उठाने का था। कोई भी इस खेल से चूकना नहीं चाहता था। बीवियां तो बड़े शौक से पराये मरद से चिपक का मज़ा लेने लगीं। धीरे धीरे सबके बदन से कपड़े उतरने लगे। मैंने राघव की बीवी बरखा भाभी की चूचियां सबसे खोल कर बाहर निकाल लीं और उन्हें प्यार से चूमने लगा। उसके निपल्स चूमने लगा चूसने लगा। , मुझे बहुत अच्छा लग रहा था। / तभी मैंने देखा की राघव भी मेरी बीवी की चूँचियाँ चुम रहा है और चूस रहा है। आज पहली बार मुझे अपनी बीवी को किसी दूसरे मरद के नंगी होने में बड़ा मज़ा आ रहा था। उधर संजय नेहा भाभी की चूँचियाँ खोल कर एन्जॉय करने लगा और अरुण संजय की बीवी नीलम की चूँचियाँ का मज़ा लेने लगा।
मैंने बरखा भाभी को एकदम नंगी कर दिया। उसे नंगी दख कर मेरे लण्ड में जबरदस्त उछाल आ गया। भाभी ने उसे पकड़ लिया तो लण्ड और तन कर खड़ा हो गया। मैं भी तब तक एकदम नंगा हो चुका था। मैं पहली बार किसी परायी बीवी को नंगी नंगी अपने बाँहों में लिए हुए था। उधर मेरी बीवी भी नंगी हो चुकी थी। राघव उसे अपनी गोद में बैठा कर मज़ा ले रहा था। उसके पूरे नंगे बदन पर अपना हाथ फिरा रहा था। संजय अरुण की नंगी बीवी के बदन से खेलने लगा और अरुण संजय की नंगी बीवी के साथ खेलने लगा। अब चारो कपल नंगे थे। हम लोग एक दूस्सरे की नंगी बीवी देख कर मज़ा लेने लगे और बीवियां पराये मर्दों को नंगे देख कर मज़ा करने लगीं। मेरी बीवी राघव का लण्ड मुंह में लेकर चूसने लगी और उसकी बीवी मेरा लण्ड चूसने लगी। संजय की बीवी अरुण का लौड़ा मुंह में भर कर चूमने चाटने लगी तो अरुण की बीवी संजय का लौड़ा मुंह फैलाकर अंदर घुसेड़ा और उसे चाटने चूसने लगी।
मेरी बीवी नमिता बोली - हाय बरखा, मुझे तेरे पति का लण्ड बड़ा अच्छा लग रहा है। कितना मोटा और हैंडसम है तेरे पति का लण्ड ? मन करता है की इसे कच्चा चबा जाऊं।
बरखा भाभी ने कहा - तो फिर चबा जाओ न मेरे पति का लण्ड। मुझे तो तेरे मरद का लौड़ा बहुत भा गया है। ये भी बहुत मोटा और सख्त लौड़ा है एकदम भाला जैसे। इसका नुकीला सुपाड़ा मुझे पसंद आ गया है यार ?
नीलू बोली - वॉवो नेहा तेरे मियां का लण्ड भोसड़ी का बड़ा मस्त है यार। बिलकुल मेरे जीजू के लण्ड की तरह है इसका लण्ड। इसका गोल गोल सुपाड़ा और एकदम लोहे के रॉड जैसा लण्ड मुझे बहुत अच्छा लग रहा है। आज ये मेरी चूत का अच्छी तरह बाजा बजायेगा ?
नेहा बोली - तो फिर क्या मज़ा करो न मेरे पति के लण्ड के साथ। मुझे तो तेरा मरद का लौड़ा एकदम तोप लग रहा है और लण्ड का सुपाड़ा तो बिलकुल तोप का गोला लग रहा है। अब ये तोप जब मेरी चूत में घुसेगा तो बुर चोदी चूत क्या उसकी माँ का भोसड़ा भी फट जायेगा।
इस तरह की बातों से सबके लण्ड और सख्त होकर खड़े हो गए। मैंने बरखा की टांगें फैला दीं और उसकी चूत पर अपना लण्ड टिका दिया। वह बोली अरे यार अब देर न करो जल्दी पेलो लण्ड और चोदो मुझे। मैंने भी भक्क से लौड़ा घुसा दिया और चोदने लगा। यह पहला मौका था जब की मैंने किसी और की बीवी चोदना शुरू किया। उधर राघव भी मेरी बीवी चोदने के लिए अपना लौड़ा उसकी बुर में पेल दिया। वह भी मेरी बीवी अपनी बीवी समझ कर चोदने लगा। जाने क्यों आज मुझे यह देख कर बुरा नहीं लग रहा था की मरी बीवी कोई और चोद रहा है। तब तक मेरे सामने ही अरुण संजय की बीवी चोदने लगा और संजयअरुण की बीवी। वो दोनों भी बहुत खुश थे एक दूसरे की बीवी चोदने में। बीवियां भी बड़ी खुश दिख रहीं थीं एक दूसरे के हसबैंड से चुदवाने में।
राघव ने मेरी बीवी नमिता से पूंछा - भाभी तुम्हे कैसा फील हो रहा है मुझसे चुदवाकर ?
वह बोली - आज मुझे चुदाई का असली मज़ा आ रहा है और मुझे अपने हसबैंड को दूसरे की बीवी चोदते हुए देखने में बुरा भी नहीं लग रहा है। बल्कि मैं तो चाहती हूँ की मेरा पति इसी तरह लोगों की बीवियां चोदे। ,
अब चारों बीवियों की चूत का बाजा बजने लगा। मैंने देखा की मेरी बीवी राघव से जितने मन से चुदवा रही है उतने मन से उसने मुझसे कभी नहीं चुदवाया। इसका मतलब यह है की बीवियां पराये मरद से चुदवाने में ज्यादा इंटरेस्ट लेतीं हैं। ज्यादा मजे करतीं हैं और मस्त रहतीं हैं। वैसे भी मरद भी दूसरों की बीवियां चोदने में बड़े उत्तेजित रहतें हैं।
अरुण ने कहा - यार संजय मुझे तेरी बीवी चोदने में स्वर्ग का मज़ा मिल रहा है तो संजय ने कहा - मुझे भी तेरी बीवी चोदने खूब मज़ा आ रहा है और मैं आगे भी चोदता रहूंगा।
पूरा कमरा चुदाई की आवाज़ों से गूंजने लगा। मुझे ऐसी आवाज़ें बड़ी अच्छी लग रहीं थीं। मुझे लगा की अब
नीलू भाभी मेरा लण्ड चाटने लगीं तो मैं उसकी बुर चाटने लगा। संजय मेरी बीवी की बुर चाटने लगा तो मेरी बीवी उसका लण्ड। राघव और अरुण भी एक दूसरे की बीवी की बुर चाटने में जुट गए और उनकी बीवियां भी एक दूसरे के पति का लण्ड चाटने में ? मैं आज बहुत ही खुश था और मन ही मन अपनी बीवी की तारीफ कर रहा था की उसने हम को दूसरे की बीवी चोदने के लिए उकसाया। मैं फिर नीलू भाभी की बुर चोदने लगा और संजय मेरी बीवी चोदने लगा। इस बार मुझे ज्यादा मज़ा आ रहा था। मैं बड़ी मस्ती से संजय से अपनी बीवी चुदवाने लगा। अरुण और राघव भी अपनी अपनी बीवी एक दूसरे से चुदवाने लगे। आज हम सबको अपनी अपनी बीवी चुदवाने का मज़ा भी मिल रहा था । विदेशों में तो लोग अपनी अपनी चुदवाने के लिए बड़े बड़े क्लबों में जातें हैं और पराये मर्दों को अपने घर भी बुलातें हैं। बीवियां भी अपनी सहेलियों की बुर अपने अपने हसबैंण्ड से चुदवाकर कर मज़ा करती हैं। ये तो लण्ड और चूत का खेल है इसे कई तरीकों से खेला जा सकता है।
आखिरी पारी में मैंने अरुण की बीवी चोदी और अरुण ने मेरी बीवी चोदी। संजय ने लण्ड राघव की बीवी की बुर में पेल दिया तो राघव ने अपना लण्ड संजय की बीवी की बुर में घुसा दिया। इस तरह हम सबने एक दूसरे की बीवी रात भर चोदी और सुबह चलते चलते यह वादा किया की अगले शनिवार को इस तरह की चुदाई फिर होगी।
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