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मेरा लण्ड चूसो पूजा भाभी मजे दूंगा - Puja bhabhi ki chudai josh me choda
मेरा लण्ड चूसो पूजा भाभी मजे दूंगा - Puja bhabhi ki chudai josh me choda, पूजा भाभी ने देवर से अकेले में चूत चुदवाई लंड की प्यासी भाभी, भाभी ने देवर को बहुत मजे दिए, गाँव की देसी भाभी लण्ड चूसती और चुदवाया फ़्री में, पूजा भाभी के आम चूसे - Best Hindi sex stories, भाभी को मेरा मोटा और लम्बा लंड बहुत पसंद है.
भाभी प्लीज आज मेरी तमन्ना पूरी कर दो। मैं जाने कब से तुझे लण्ड चुसाने के लिए बेताब हो रहा हूँ। मैं हमेशा यही सोंचा करता था की कब वह दिन आएगा जब पूजा भाभी अपने इन सुन्दर सुन्दर हाथों से मेरा लण्ड पकड़ेंगी और फिर उसे अपने मुंह में लेकर मजे से चूसेंगीं और मैं उसकी मस्त मस्त बड़ी बड़ी चूंचियां अपने हाथों से मसलूँगा और फिर मुंह में लेकर चूसूंगा ? आज वह दिन आ गया है भाभी। तेरे हाथ में मेरा लण्ड है और मेरे हाथ में तेरी चूंचियां . तुम मेरा लण्ड चूसो और मैं तेरी चूंचियां ? तुम मेरा लण्ड चाटो पूजा भाभी मैं तेरी बुर चाटूंगा ?
मैंने कहा - भोसड़ी के अनिल जब तू मुझे अपना लण्ड पकड़ाना चाहता था तो फिर पकड़ाया क्यों नहीं ? मुझे इतने बढ़िया लण्ड से इतने दिनों तक दूर क्यों रखा ? मेरे आमने अपना लण्ड खोल कर खड़ा क्यों नहीं हो गया तू मादर चोद ? तेरी गाड़ फटती थी क्या मुझसे ? तुझे मालूम है की एक जवान लड़की को या जवान बीवी को लण्ड बहुत प्यारे होतें है ? वह सबसे ज्यादा मोहब्बत लण्ड से करती है और सिर्फ लण्ड से ? दुनिया में लण्ड के आगे उसको कुछ और अच्छा नहीं लगता ? अब आज तूने मुझे अपना लण्ड पकड़ाया है तो अब कभी पीछे नहीं हटना ? और अगर हटा तो मैं फिर तेरी माँ चोद दूँगी ? ऐसा कह कर मैं मस्ती से उसका लण्ड चूसने लगी।
बहुत दिनों के बाद मुझे एक मस्त लौड़ा मिला है। मैं मस्त हुई जा रही थी और मेरी चूंचियां भी छलक कर बाहर आ गयी हैं। अनिल उन्हें अपने मुंह में भर कर कभी चूस रहा है और कभी चाट रहा है। मुझे तो उसका सुपाड़ा चूसने में बड़ा मज़ा आ रहा है । मेरी नज़र अचानक बेड पर पड़े इंची टेप पर गयी न. मैंने उसे उठाया और लौड़े की नाप लेने लगी। मैंने जब उसकी लम्बाई चौड़ाई देखि तो मेरी आँखें खुल गयीं। वह ८" से ज्यादा लंबा निकला और साढ़े पांच इंच मोटा निकला। मैं बोली यार अनिल तेरा लौड़ा तो आज मेरी चूत फाड़ देगा । भोसड़ी का बड़ा मस्त है तेरा लण्ड ? मैं उसे अपनी बुर में घुसा कर चुदवाने लगी। मैं सारी दुनिया भूल गयी। मुझे अनिल का लण्ड बड़ा मज़ा देने लगा और मैं गांड उठा उठा कर और जोर से चुदवाने लगी। दोस्तों, मेरा पति फ़ौज़ में काम करता है और मैं यहाँ अपनी रोली दीदी और रोहित जीजा के साथ रहती हूँ। रोली दीदी मेरी मौसी की लड़की है और मुझसे बड़ी हैं। जीजा और दीदी दोनों अलग अलग कॉलेज में पढ़ाते हैं और मैं भी एक कंपनी में काम करती हूँ। हम तीनो बड़े मजे से ज़िन्दगी गुज़ार रहें हैं। हां मेरे हसबैंड के जाने के फ़ौज़ में जाने बाद मैं रात में कभी कभी बड़ी उदास हो जाती हूँ क्योंकि मुझे लण्ड नहीं मिलता ? मेरी चूत मुझे बहुत परेशान करती है। उसकी आग बुझाने का मेरे पास कोई और साधन नहीं है। ऐसे में जब अनिल मुझे मिला तो मज़ा आ गया। मैं तो अभी से उसके लण्ड से मोहब्बत करने लगी हूँ।
इतने में अनिल मुझे पीछे से चोदने लगा और मैं कुतिया की तरह चुदवाने लगी। थोड़ी देर चोदने के बाद वह बोला भाभी मैं अब निकलने वाल हूँ। मैं तो अभी एक मिनट पहले ही खलास हो चुकी थी। बस मैं घूम गयी और उसका लण्ड पकड़ कर मुठ्ठ मारने लगी। मैं बोली भोसड़ी के बड़े मस्त हो यार तुम लौड़े मियां ? आगे भी मुझे चोदते रहना माँ के लौड़े ? मैं लण्ड को गाली दे दे कर मज़ा लेने लगी। मैं तेरी माँ चोद दूँगी लौड़े मियां तेरी बाहन की बुर चोदूंगी। आ जा जल्दी से निकल और उगल दे अपना मक्खन मेरे मुंह में लण्ड राजा। उधर अनिल सिसकियाँ मारने लगा हाय भाभी और जोर जोर से मारो सड़का ? तेरे हाथों में जादू है भाभी। तेरी बुर भी अच्छी है तेरे हाथ भी बड़े सुन्दर है भाभी। हां हा भाभी, ओ ही आ हा हा ऊ ओहो और जोर से हां हा इसी तरह ओये हाय मैं निकल रहा हूँ भाभी। बस उसके लण्ड ने उगल दिया वीर्य मेरे मुंह में और मै भी बिल्ली की तरह उसका लण्ड चाटने लगी।
दोस्तों, अनिल मेरा सगा देवर नहीं है। वास्तव में मैं जहाँ काम करती हूँ वहां यह अक्सर आया जाया करता था। इसका काम मेरी ही टेबल से होता था। इसलिए जान पहचान बढ़ने लगी। एक दिन वह मुझे एक होटल में खाना खिलाने ले गया। फिर हमने कई बार उसके साथ खाना खाया और एक दिन वह मुझे सिनेमा दिखाने भी ले गया। तब तक हम लोग थोड़ा खुल कर बातें करने लगे थे। सिनेमा हाल में भीड़ बिलकुल नहीं थी और हम दोनों पीछे की सीट पर बैठ गए। फिल्म जब शुरू हुई तो अन्धेरा हो गया। इसी बीच उसने मेरा चुम्मा ले लिया। मैं मुस्करा पड़ी। फिर उसने मेरी चूंचियां दबा दीं और मेरे कान में बोला हाय भाभी आपकी चूंचियां बड़ी मस्त हैं ? मुझे यह सुनकर अच्छा लगा और मैंने भी उसका लण्ड दबा दिया ? फिर उसने मेरे ब्लाऊज़ मे हाथ घुसेड़ दिया और मेरी चूंची मुठ्ठी में लेकर मसलने लगा। मैंने भी उसकी जिप खोली और हाथ अंदर डाल कर उसका खड़ा लण्ड पकड़ लिया। मैंने उसके कान में कहा बाप रे बड़ा मोटा है तेरा लण्ड ? हमने फिल्म तो देखी नहीं बस चूंची और लण्ड की कहानी ही होती रही।
दो बार और ऐसा ही हुआ। मैं उसके साथ सिनेमा देखने गयी और उसका लण्ड पकड़ा उसने मेरी चूंचियां पकड़ीं ? लेकिन न मैं उसका लण्ड देख सकी और ब न वह मेरी चूंचियां। इसलिए हमने एक दिन प्लान बनाया और एक छोटी सी अटैची लेकर एक बहना बनाया और घर से निकल पड़ी। उधर अनिल भी आ गया और हम दोनों एक होटल में ठहर गए। अब हाल यह था न मुझे बिना चुदवाये चैन मिल रहा था और न उसे बिना चोदे ? रात मैं पहले तो हम दोनों ने शराब पी और फिर मैं नंगी होकर उसके सामने डांस करने लगी। वह भी नंगा नंगा मेरे सामने नाचने लगा। हम दोनों नशे में धुत्त थे । उसके बाद शुरू हो गयी ठुकाई ? वह अपना लण्ड मेरी बुर में ठोंकने लगा और मैं ठोंकवाने लगी। वह चोदने लगा मेरी बुर और मैं चुदवाने लगी। वह मेरी गांड मारने लगा और मैं गांड मरवाने लगी ? रात भर यही तमाशा होता रहा लेकिन यह बात सच है की मुझे उसका लौड़ा बहुत पसंद आया और उसे मेरी चूत ?
एक दिन मैं ऑफिस से घर जल्दी आ गयी। मैंने अपनी चाभी से दरवाजा खोला और सीधे अपने कमरे में चली गयी। कपड़े बदल कर मैं नीचे उतर रही थी तो मुझे किसी की आवाज़ सुनाई पड़ी। वाओ, ये आदमी का लौड़ा है की किसी हाथी का लौड़ा ? इसे देख कर तो मेरी गांड फट गयी है। जब यह साला घुसेगा मेरी चूत में तो मेरी चूत भी फट जाएगी। फिर न मैं चुदवा पाऊँगी और न गांड मरवा पाऊँगी ? मैं चुपचाप झांक कर देखने लगी। मैंने देखा की मेरा जीजा मदर चोद एकदम नंगा बैठा है। उसका लण्ड एक औरत नंगी नंगी पकड़ कर हिला रही है। लण्ड चारों तरफ से देख रही है और उसे चूम रही है, चाट रही है। मेरी नज़र जब लण्ड पर पड़ी तो मेरी चूत बुर चोदी गनगना उठी। आग लग गयी बहन चोद चूत में ? मैंने मन में कहा हाय दईया इतना बड़ा और इतना मोटा है जीजा का लण्ड ? देखो साला कितना सुन्दर लग रहा है क्योंकी झांटें बिलकुल साफ़ है। पर यह भोसड़ी की बड़ी बड़ी चूंचियों वाली औरत कौन है जो जीजा से चुदवाने के लिए तैयार है। पहले तो उसने लण्ड को प्यार से पुचकारा और फिर कुछ देर में लण्ड मुंह में घुसेड़ कर चूसने लगी ? मैं इधर जली जा रही थी। जीजा मेरा है और लण्ड का मज़ा ले रही है यह भोसड़ी वाली ?
इधर मैं अपनी ही चूंचियां मसलने लगी और उंगलियां अपनी चूत में घुसेड़ने लगी ? चूत मेरी भी चिकनी थी। मैं मन में कह रही थी की भोसड़ी के जीजा मेरी बुर चोद लिया होता तो तेरा क्या चला जाता ? मेरी चूत इस बुर चोदी से लाख दर्जे अच्छी है। तब तक मैंने देखा की जीजा उसकी चूत चाट रहा है. मैंने फिर मन में कहा साले मेरी बुर चाट ले भोसड़ी के जीजा। मेरी बुर चोद ले भोसड़ी के ? मेरी गांड मार ले मादर चोद ? बस इतनी देर में जीजा ने लण्ड उसकी बुर में घुसा दिया और भकाभक चोदना शुरू कर दिया। इतना मोटा लण्ड एक ही धक्के में गप्प से घुस गया। मैं समझ गयी की इसकी चूत भक्काड़ा हो चुकी है। ये तो माँ की लौड़ी कई लौड़े खा कर बैठी है। जीजा खामखाँ इस ढीली औरत को ले आएं है अरे मुझसे कहता तो मैं अपनी ही नहीं अपनी सहेलियों की भी चूत दिलवा देती ? मेरी एक से एक बढ़कर चुदवाने वाली दोस्त हैं ? वो साली इतनी गरम है की बहन चोद की अपनी चूत क्या अपनी माँ का भोसड़ा भी चुदवा लें ?
फिर भी मैं वहां से हटी नहीं और बराबर वहीँ बैठी रही। मैंने पूरी चुदाई देखी और जीजा का असली चेहरा भी मेरे सामने आ गया। दूसरे दिन मैंने अपनी सहेली रेनू को फोन किया। लेकिन रेनू ने फोन नहीं उठाया। मैंने फिर फोन किया और इस बार भी उसने फोन नहीं उठाया। मैं समझ गयी की शायद कोई खास बात होगी ? लेकिन आधे घंटें बाद उसका खुद फोन आ गया।
दो दिन बाद मैं फिर एक दिन जल्दी घर आ गयी ? इस बार भी कमरे से आवाज़ आ रही थी ? वाओ, क्या चूंचियां है आपकी ? इतनी बड़ी बड़ी और मस्त चूंचियां तो कॉलेज में किसी की भी नहीं हैं। ममता मेम की भी नहीं ? और मेम तेरी यह बिना झांट की चूत तो मेरी जान ले रही है ? मुझे इसी तरह की चूत चोदने में मज़ा आता है ? मैं उस लड़के की आवाज़ पहचान नहीं सकी। मैं जब झाँक कर देखने लगी तो दंग रह गयी। अंदर मेरी रोली दीदी नंगी नंगी बैठी हुई उसका लण्ड हिला रही हैं। लण्ड की चुम्मी ले रही हैं। उसे पुचकार रही हैं। वह बोली अच्छा तो तुम ममता की भी बुर चोदते हो क्या ? वह बोला हां मेम वह तो कई लड़कों से चुदवाती है ? उसे लण्ड चूसने का बड़ा शौक है। मैंने मन में कहा यार शौक तो मुझे भी है लण्ड चूसने का ? तू भोसड़ी का मुझे क्यों नहीं पकड़ाता अपना लौड़ा ? मैंने जब उसका लण्ड देखा तो मेरी लार टपकने लगी। लण्ड साला जीजा के लण्ड से बड़ा लगा मुझे। मैं काफी देर तक लण्ड देखती रही। तब तक दीदी की निगाह मुझ पर पास गयी।
वह बोली :- अरी पूजा बुर चोदी तू छुप छुप कर क्या देख रही है ? यहाँ मेरे सामने आ न ?
मैं तो यही चाहती थी तो उसके सामने फ़ौरन चली गयी। दीदी ने मुझे लण्ड दिखाते हुए कहा ले पकड़ भोसड़ी की लण्ड और इसे चूस कर दिखा मुझे ? यह विक्रम है मेरा स्टूडेंट ? मुझे इसका लण्ड बहुत पसंद है इसलिए कभी कभी इससे चुदवाती हूँ। आज तू चुदवा ले ? मैं जानती हूँ की तू लण्ड के लिए कितना तरस रही है ? ऐसी भर जवानी में तेरा मरद फ़ौज़ में है और यहाँ तुझे चोदने वाला कोई नहीं है ? जवानी बिना बुर चुदवाये काटे नहीं कटती ? मैं तेरी बड़ी बहन हूँ मैं तेरा ख्याल नहीं रखूंगी तो कौन रखेगी ? मैं जब लण्ड चाटने लगी तो दीदी ने मेरे कपड़े उतार दिया। अब मैं उन दोनों के सामने एकदम नंगी हो गयी। मुझे लण्ड चूसने में वाकई ज्यादा मज़ा आ रहा था। तब तक दीदी ने मेरी चूत में ऊँगली करके रास्ता बना दिया और फिर विक्रम ने लण्ड तुरंत पेल दिया मेरी चूत में। मैं निडर हो के चुदवाने लगी। मैं जब दुबारा लण्ड चूसने लगी तो दीदी मेरी बुर चाटने लगी। दीदी जब लण्ड चूसने लगीं तो मैं उसकी बुर चाटने लगी। इस तरह हम दोनों ने मिलकर विक्रम से भकाभक चुदवाया।
चुदाई के बाद दीदी ने पूंछा :- पूजा तूने कभी अपने जीजा का लण्ड पकड़ा ?
मैंने जबाब दिया :- कभी नहीं दीदी ? मैंने आज तक जीजा का लण्ड न देखा और न पकड़ा ?
दीदी :- तू बहन चोद किस तरह की साली है ? आजकल तो हर साली अपने जीजा से चुदवाती है तो फिर तू क्यों नहीं ? अच्छा यह बताओ जीजा से चुदवाने का मन है तेरा ?
मैं :- हां बिलकुल मन है दीदी ? मैं तो बहुत दिनों से सोंच रही हूँ की मैं किसी दिन जीजा से चुदवाऊँ ?
दीदी :- तो फिर चुदवाती क्यों नहीं ? देख तेरा जीजा भी तुझे चोदना चाहता है ? उसे शर्म आती है तुमसे कहने में ? वह मुझसे कई बार कह चुका है की पूजा की बुर दिलवाओ मुझे रोली ? मैं उसे चोदना चाहता हूँ ? अब तू उसे अपनी बुर दे दे ?
देख पूजा चूत वही अच्छी होती है जो लण्ड के काम आये ? अगर चूत लण्ड के काम न आये तो चूत भोसड़ी की किस काम की ? क्या तू अपनी चूत का आचार डालेगी ? अभी कल आएगा तेरा जीजा उससे खुल कर बातें करना और मजे से चुदवाना अपनी चूत ? और हां सुन जब तेरा मरद आ जाएगा मैं उससे चुदवाऊँगी वह भी तेरे सामने ?
उसके बाद दीदी ने खुद विक्रम का लण्ड मेरी चूत में घुसड़ दिया और मैं मस्ती से चुदवाने लगी। मुझे विक्रम का लण्ड उतना ही पसंद आया जितना की अनिल का लण्ड ? मैंने पहली बार दीदी के सामने किसी और से चुदवाया ? ऐसा होने से मेरी हिम्मत पराये मर्दों से चुदवाने की बढ़ गयी। आखिर में कब मैंने झड़ता हुआ लण्ड चाटा तो दीदी मेरी बिना तारीफ किये अपने आपको रोक नहीं सकी ? वह बोली हाय पूजा तू तो मुझसे भी अच्छी तरह लण्ड चूस लेती है ? तू चिंता न कर अब मैं तेरी बुर चुदवाया करूंगी ?
दूसरे दिन इतवार था। दीदी घर में नहीं थी। जीजा आ चुके थे। दिन के ११ बजे थे गर्मी के दिन थे। मैं बाथ रूम से नहा कर निकली थी। मेरे बालों से पानी टपक रहा था और मैंने चूंचियों तक एक तौलिया लपेट रखी थी। तभी जीजा मेरे सामने आ गये। हमने एक दूसरे को देखा। मैं उसे देख कर मुस्कराई और वह मुझे देख कर। मैं थोड़ा जाने लगी तो जीजा ने मुझे पकड़ लिया और बोला हाय पूजा आज तुम बड़ी हसीन लग रही हो ? मैंने कहा तुम भी तो बड़े हैंडसम लग रहे हो जीजा ? बस जीजा ने मेरी तौलिया घसीट ली। मैं नंगी हो गयी तो फ़ौरन नीचे बैठ गयी। वह बोला हाय पूजा क्या सेक्सी बदन है तेरा ? अब इसे क्यों छुपा रही हो ? मैंने कहा छुपा तो तुम रहे हो जीजा अपना भोसड़ी का लण्ड ? मेरी खुली खुली बात और गाली सुनकर उसके अंदर जोश भर गया। उसने अपनी लुंगी खोल दी और मेरे आगे नेकर में खड़ा हो गया। बस मेरा हाथ उसके लण्ड पर चल गया। वह मेरी चूचियाँ मसलने लगा और मैं उसका लण्ड ? फिर मैंने उसकी चड्ढी भी उतार दी तो लण्ड राजा मेरे सामने खड़े हो गये ?
मैंने कहा वाओ, कितना बढ़िया लण्ड है तेरा जीजा ? अभी तक इस मादर चोद को मुझसे छिपा कर क्यों रखा था ? आज तो मैं इसे चोदूंगी ? वह मेरी अश्लील बातें सुनकर मस्त हो गया और मुझे चिपका लिया। मैं पूरी तरह से उससे चिपक गयी और फिर थोड़ी देर में नीचे घुटनो के बल बैठ कर लण्ड चूसने लगी। मैं मन में कहने लगी की उस दिन इसी लण्ड को दूर से देखा था और आज यह मेरे हाथ में है, मेरे मुंह है ? अभी यह माँ का लौड़ा मेरी चूत में भी घुस जाएगा ? मैं बड़ी देर तक चूसती रही लण्ड ? वह बोला हाय पूजा अब तू लण्ड चूसती ही रहेगी की चुदवायेगी भी ? मैंने कहा अभी तो मुझे जी भर कर चूस लेने दो लण्ड जीजा ? चुदवाने के लिये तो पूरा दिन पड़ा है। अब आज और कुछ तो होना नहीं है सिर्फ तुझे मेरी बुर चोदनी है भोसड़ी के जीजा ? जीजा ने मुझे उस दिन बहुत अच्छी अरह से चोदा।
मैंने कहा - भोसड़ी के अनिल जब तू मुझे अपना लण्ड पकड़ाना चाहता था तो फिर पकड़ाया क्यों नहीं ? मुझे इतने बढ़िया लण्ड से इतने दिनों तक दूर क्यों रखा ? मेरे आमने अपना लण्ड खोल कर खड़ा क्यों नहीं हो गया तू मादर चोद ? तेरी गाड़ फटती थी क्या मुझसे ? तुझे मालूम है की एक जवान लड़की को या जवान बीवी को लण्ड बहुत प्यारे होतें है ? वह सबसे ज्यादा मोहब्बत लण्ड से करती है और सिर्फ लण्ड से ? दुनिया में लण्ड के आगे उसको कुछ और अच्छा नहीं लगता ? अब आज तूने मुझे अपना लण्ड पकड़ाया है तो अब कभी पीछे नहीं हटना ? और अगर हटा तो मैं फिर तेरी माँ चोद दूँगी ? ऐसा कह कर मैं मस्ती से उसका लण्ड चूसने लगी।
बहुत दिनों के बाद मुझे एक मस्त लौड़ा मिला है। मैं मस्त हुई जा रही थी और मेरी चूंचियां भी छलक कर बाहर आ गयी हैं। अनिल उन्हें अपने मुंह में भर कर कभी चूस रहा है और कभी चाट रहा है। मुझे तो उसका सुपाड़ा चूसने में बड़ा मज़ा आ रहा है । मेरी नज़र अचानक बेड पर पड़े इंची टेप पर गयी न. मैंने उसे उठाया और लौड़े की नाप लेने लगी। मैंने जब उसकी लम्बाई चौड़ाई देखि तो मेरी आँखें खुल गयीं। वह ८" से ज्यादा लंबा निकला और साढ़े पांच इंच मोटा निकला। मैं बोली यार अनिल तेरा लौड़ा तो आज मेरी चूत फाड़ देगा । भोसड़ी का बड़ा मस्त है तेरा लण्ड ? मैं उसे अपनी बुर में घुसा कर चुदवाने लगी। मैं सारी दुनिया भूल गयी। मुझे अनिल का लण्ड बड़ा मज़ा देने लगा और मैं गांड उठा उठा कर और जोर से चुदवाने लगी। दोस्तों, मेरा पति फ़ौज़ में काम करता है और मैं यहाँ अपनी रोली दीदी और रोहित जीजा के साथ रहती हूँ। रोली दीदी मेरी मौसी की लड़की है और मुझसे बड़ी हैं। जीजा और दीदी दोनों अलग अलग कॉलेज में पढ़ाते हैं और मैं भी एक कंपनी में काम करती हूँ। हम तीनो बड़े मजे से ज़िन्दगी गुज़ार रहें हैं। हां मेरे हसबैंड के जाने के फ़ौज़ में जाने बाद मैं रात में कभी कभी बड़ी उदास हो जाती हूँ क्योंकि मुझे लण्ड नहीं मिलता ? मेरी चूत मुझे बहुत परेशान करती है। उसकी आग बुझाने का मेरे पास कोई और साधन नहीं है। ऐसे में जब अनिल मुझे मिला तो मज़ा आ गया। मैं तो अभी से उसके लण्ड से मोहब्बत करने लगी हूँ।
इतने में अनिल मुझे पीछे से चोदने लगा और मैं कुतिया की तरह चुदवाने लगी। थोड़ी देर चोदने के बाद वह बोला भाभी मैं अब निकलने वाल हूँ। मैं तो अभी एक मिनट पहले ही खलास हो चुकी थी। बस मैं घूम गयी और उसका लण्ड पकड़ कर मुठ्ठ मारने लगी। मैं बोली भोसड़ी के बड़े मस्त हो यार तुम लौड़े मियां ? आगे भी मुझे चोदते रहना माँ के लौड़े ? मैं लण्ड को गाली दे दे कर मज़ा लेने लगी। मैं तेरी माँ चोद दूँगी लौड़े मियां तेरी बाहन की बुर चोदूंगी। आ जा जल्दी से निकल और उगल दे अपना मक्खन मेरे मुंह में लण्ड राजा। उधर अनिल सिसकियाँ मारने लगा हाय भाभी और जोर जोर से मारो सड़का ? तेरे हाथों में जादू है भाभी। तेरी बुर भी अच्छी है तेरे हाथ भी बड़े सुन्दर है भाभी। हां हा भाभी, ओ ही आ हा हा ऊ ओहो और जोर से हां हा इसी तरह ओये हाय मैं निकल रहा हूँ भाभी। बस उसके लण्ड ने उगल दिया वीर्य मेरे मुंह में और मै भी बिल्ली की तरह उसका लण्ड चाटने लगी।
दोस्तों, अनिल मेरा सगा देवर नहीं है। वास्तव में मैं जहाँ काम करती हूँ वहां यह अक्सर आया जाया करता था। इसका काम मेरी ही टेबल से होता था। इसलिए जान पहचान बढ़ने लगी। एक दिन वह मुझे एक होटल में खाना खिलाने ले गया। फिर हमने कई बार उसके साथ खाना खाया और एक दिन वह मुझे सिनेमा दिखाने भी ले गया। तब तक हम लोग थोड़ा खुल कर बातें करने लगे थे। सिनेमा हाल में भीड़ बिलकुल नहीं थी और हम दोनों पीछे की सीट पर बैठ गए। फिल्म जब शुरू हुई तो अन्धेरा हो गया। इसी बीच उसने मेरा चुम्मा ले लिया। मैं मुस्करा पड़ी। फिर उसने मेरी चूंचियां दबा दीं और मेरे कान में बोला हाय भाभी आपकी चूंचियां बड़ी मस्त हैं ? मुझे यह सुनकर अच्छा लगा और मैंने भी उसका लण्ड दबा दिया ? फिर उसने मेरे ब्लाऊज़ मे हाथ घुसेड़ दिया और मेरी चूंची मुठ्ठी में लेकर मसलने लगा। मैंने भी उसकी जिप खोली और हाथ अंदर डाल कर उसका खड़ा लण्ड पकड़ लिया। मैंने उसके कान में कहा बाप रे बड़ा मोटा है तेरा लण्ड ? हमने फिल्म तो देखी नहीं बस चूंची और लण्ड की कहानी ही होती रही।
दो बार और ऐसा ही हुआ। मैं उसके साथ सिनेमा देखने गयी और उसका लण्ड पकड़ा उसने मेरी चूंचियां पकड़ीं ? लेकिन न मैं उसका लण्ड देख सकी और ब न वह मेरी चूंचियां। इसलिए हमने एक दिन प्लान बनाया और एक छोटी सी अटैची लेकर एक बहना बनाया और घर से निकल पड़ी। उधर अनिल भी आ गया और हम दोनों एक होटल में ठहर गए। अब हाल यह था न मुझे बिना चुदवाये चैन मिल रहा था और न उसे बिना चोदे ? रात मैं पहले तो हम दोनों ने शराब पी और फिर मैं नंगी होकर उसके सामने डांस करने लगी। वह भी नंगा नंगा मेरे सामने नाचने लगा। हम दोनों नशे में धुत्त थे । उसके बाद शुरू हो गयी ठुकाई ? वह अपना लण्ड मेरी बुर में ठोंकने लगा और मैं ठोंकवाने लगी। वह चोदने लगा मेरी बुर और मैं चुदवाने लगी। वह मेरी गांड मारने लगा और मैं गांड मरवाने लगी ? रात भर यही तमाशा होता रहा लेकिन यह बात सच है की मुझे उसका लौड़ा बहुत पसंद आया और उसे मेरी चूत ?
एक दिन मैं ऑफिस से घर जल्दी आ गयी। मैंने अपनी चाभी से दरवाजा खोला और सीधे अपने कमरे में चली गयी। कपड़े बदल कर मैं नीचे उतर रही थी तो मुझे किसी की आवाज़ सुनाई पड़ी। वाओ, ये आदमी का लौड़ा है की किसी हाथी का लौड़ा ? इसे देख कर तो मेरी गांड फट गयी है। जब यह साला घुसेगा मेरी चूत में तो मेरी चूत भी फट जाएगी। फिर न मैं चुदवा पाऊँगी और न गांड मरवा पाऊँगी ? मैं चुपचाप झांक कर देखने लगी। मैंने देखा की मेरा जीजा मदर चोद एकदम नंगा बैठा है। उसका लण्ड एक औरत नंगी नंगी पकड़ कर हिला रही है। लण्ड चारों तरफ से देख रही है और उसे चूम रही है, चाट रही है। मेरी नज़र जब लण्ड पर पड़ी तो मेरी चूत बुर चोदी गनगना उठी। आग लग गयी बहन चोद चूत में ? मैंने मन में कहा हाय दईया इतना बड़ा और इतना मोटा है जीजा का लण्ड ? देखो साला कितना सुन्दर लग रहा है क्योंकी झांटें बिलकुल साफ़ है। पर यह भोसड़ी की बड़ी बड़ी चूंचियों वाली औरत कौन है जो जीजा से चुदवाने के लिए तैयार है। पहले तो उसने लण्ड को प्यार से पुचकारा और फिर कुछ देर में लण्ड मुंह में घुसेड़ कर चूसने लगी ? मैं इधर जली जा रही थी। जीजा मेरा है और लण्ड का मज़ा ले रही है यह भोसड़ी वाली ?
इधर मैं अपनी ही चूंचियां मसलने लगी और उंगलियां अपनी चूत में घुसेड़ने लगी ? चूत मेरी भी चिकनी थी। मैं मन में कह रही थी की भोसड़ी के जीजा मेरी बुर चोद लिया होता तो तेरा क्या चला जाता ? मेरी चूत इस बुर चोदी से लाख दर्जे अच्छी है। तब तक मैंने देखा की जीजा उसकी चूत चाट रहा है. मैंने फिर मन में कहा साले मेरी बुर चाट ले भोसड़ी के जीजा। मेरी बुर चोद ले भोसड़ी के ? मेरी गांड मार ले मादर चोद ? बस इतनी देर में जीजा ने लण्ड उसकी बुर में घुसा दिया और भकाभक चोदना शुरू कर दिया। इतना मोटा लण्ड एक ही धक्के में गप्प से घुस गया। मैं समझ गयी की इसकी चूत भक्काड़ा हो चुकी है। ये तो माँ की लौड़ी कई लौड़े खा कर बैठी है। जीजा खामखाँ इस ढीली औरत को ले आएं है अरे मुझसे कहता तो मैं अपनी ही नहीं अपनी सहेलियों की भी चूत दिलवा देती ? मेरी एक से एक बढ़कर चुदवाने वाली दोस्त हैं ? वो साली इतनी गरम है की बहन चोद की अपनी चूत क्या अपनी माँ का भोसड़ा भी चुदवा लें ?
फिर भी मैं वहां से हटी नहीं और बराबर वहीँ बैठी रही। मैंने पूरी चुदाई देखी और जीजा का असली चेहरा भी मेरे सामने आ गया। दूसरे दिन मैंने अपनी सहेली रेनू को फोन किया। लेकिन रेनू ने फोन नहीं उठाया। मैंने फिर फोन किया और इस बार भी उसने फोन नहीं उठाया। मैं समझ गयी की शायद कोई खास बात होगी ? लेकिन आधे घंटें बाद उसका खुद फोन आ गया।
- वह बोली यार माफ़ करना मैं फोन नहीं उठा सकी ?
- नहीं नहीं कोई बात नहीं यार ? तुमने मुझे फोन किया तो मुझे अच्छा लगा ? पर तुम कर क्या रही थीं ?
- यार जिस समय तेरा फोन आया मैं वही थीं। मैंने फोन सुना पर उठा नहीं सकी ?
- ऐसी कौन सी वज़ह थी जो तुम फोन नहीं उठा पायी ?
- यार मैं उस समय अपने जीजा से चुदवा रही थी। उसका लौड़ा पूरा का पूरा मेरी चूत में घुसा हुआ था और वह धकापेल मेरी बुर चोद रहा था. फोन मेरी पहुँच के बाहर था। मैं कैसे उसे उठाती ?
- अच्छा तो यह बात है ? तू अपने जीजा से चुदवाती है ? उसका लौड़ा ज्यादा अच्छ लगता है क्या तुझे ?
- यार अब क्या बताऊँ लौड़ा तो वाकई मुझे पसंद है ? इतना मोटा ताज़ा और मस्त लौड़ा मिलना ज़रा मुश्किल होता है ?
- यह बता की जीजा के अलावा किसी और से भी चुदवाती हो तुम ?
- क्यों नहीं चुदवाती यार ? मैं जवान हूँ, मेरी चूत में आग है। मैं लण्ड पर लण्ड ले सकती हूँ अपनी चूत में ? मेरा काम एक लण्ड से नहीं चलता ? तू बता भोसड़ी की तू क्या करती है पूजा ?
- मैं क्या करती हूँ ? अपनी झांटें उखड़ती हूँ बस ? तू तो बुर चोदी बड़ी स्वार्थी निकली ? तूने आज तक एक भी लण्ड मुझे नहीं पकड़ाया ?
- हाय दईया, मुझे क्या मालूम था की तू लण्ड के तरस रही है ? अगर तुझे लण्ड चाहिए तो बता मैं आज ही तेरी बुर चुदवा देती हूँ।
दो दिन बाद मैं फिर एक दिन जल्दी घर आ गयी ? इस बार भी कमरे से आवाज़ आ रही थी ? वाओ, क्या चूंचियां है आपकी ? इतनी बड़ी बड़ी और मस्त चूंचियां तो कॉलेज में किसी की भी नहीं हैं। ममता मेम की भी नहीं ? और मेम तेरी यह बिना झांट की चूत तो मेरी जान ले रही है ? मुझे इसी तरह की चूत चोदने में मज़ा आता है ? मैं उस लड़के की आवाज़ पहचान नहीं सकी। मैं जब झाँक कर देखने लगी तो दंग रह गयी। अंदर मेरी रोली दीदी नंगी नंगी बैठी हुई उसका लण्ड हिला रही हैं। लण्ड की चुम्मी ले रही हैं। उसे पुचकार रही हैं। वह बोली अच्छा तो तुम ममता की भी बुर चोदते हो क्या ? वह बोला हां मेम वह तो कई लड़कों से चुदवाती है ? उसे लण्ड चूसने का बड़ा शौक है। मैंने मन में कहा यार शौक तो मुझे भी है लण्ड चूसने का ? तू भोसड़ी का मुझे क्यों नहीं पकड़ाता अपना लौड़ा ? मैंने जब उसका लण्ड देखा तो मेरी लार टपकने लगी। लण्ड साला जीजा के लण्ड से बड़ा लगा मुझे। मैं काफी देर तक लण्ड देखती रही। तब तक दीदी की निगाह मुझ पर पास गयी।
वह बोली :- अरी पूजा बुर चोदी तू छुप छुप कर क्या देख रही है ? यहाँ मेरे सामने आ न ?
मैं तो यही चाहती थी तो उसके सामने फ़ौरन चली गयी। दीदी ने मुझे लण्ड दिखाते हुए कहा ले पकड़ भोसड़ी की लण्ड और इसे चूस कर दिखा मुझे ? यह विक्रम है मेरा स्टूडेंट ? मुझे इसका लण्ड बहुत पसंद है इसलिए कभी कभी इससे चुदवाती हूँ। आज तू चुदवा ले ? मैं जानती हूँ की तू लण्ड के लिए कितना तरस रही है ? ऐसी भर जवानी में तेरा मरद फ़ौज़ में है और यहाँ तुझे चोदने वाला कोई नहीं है ? जवानी बिना बुर चुदवाये काटे नहीं कटती ? मैं तेरी बड़ी बहन हूँ मैं तेरा ख्याल नहीं रखूंगी तो कौन रखेगी ? मैं जब लण्ड चाटने लगी तो दीदी ने मेरे कपड़े उतार दिया। अब मैं उन दोनों के सामने एकदम नंगी हो गयी। मुझे लण्ड चूसने में वाकई ज्यादा मज़ा आ रहा था। तब तक दीदी ने मेरी चूत में ऊँगली करके रास्ता बना दिया और फिर विक्रम ने लण्ड तुरंत पेल दिया मेरी चूत में। मैं निडर हो के चुदवाने लगी। मैं जब दुबारा लण्ड चूसने लगी तो दीदी मेरी बुर चाटने लगी। दीदी जब लण्ड चूसने लगीं तो मैं उसकी बुर चाटने लगी। इस तरह हम दोनों ने मिलकर विक्रम से भकाभक चुदवाया।
चुदाई के बाद दीदी ने पूंछा :- पूजा तूने कभी अपने जीजा का लण्ड पकड़ा ?
मैंने जबाब दिया :- कभी नहीं दीदी ? मैंने आज तक जीजा का लण्ड न देखा और न पकड़ा ?
दीदी :- तू बहन चोद किस तरह की साली है ? आजकल तो हर साली अपने जीजा से चुदवाती है तो फिर तू क्यों नहीं ? अच्छा यह बताओ जीजा से चुदवाने का मन है तेरा ?
मैं :- हां बिलकुल मन है दीदी ? मैं तो बहुत दिनों से सोंच रही हूँ की मैं किसी दिन जीजा से चुदवाऊँ ?
दीदी :- तो फिर चुदवाती क्यों नहीं ? देख तेरा जीजा भी तुझे चोदना चाहता है ? उसे शर्म आती है तुमसे कहने में ? वह मुझसे कई बार कह चुका है की पूजा की बुर दिलवाओ मुझे रोली ? मैं उसे चोदना चाहता हूँ ? अब तू उसे अपनी बुर दे दे ?
देख पूजा चूत वही अच्छी होती है जो लण्ड के काम आये ? अगर चूत लण्ड के काम न आये तो चूत भोसड़ी की किस काम की ? क्या तू अपनी चूत का आचार डालेगी ? अभी कल आएगा तेरा जीजा उससे खुल कर बातें करना और मजे से चुदवाना अपनी चूत ? और हां सुन जब तेरा मरद आ जाएगा मैं उससे चुदवाऊँगी वह भी तेरे सामने ?
उसके बाद दीदी ने खुद विक्रम का लण्ड मेरी चूत में घुसड़ दिया और मैं मस्ती से चुदवाने लगी। मुझे विक्रम का लण्ड उतना ही पसंद आया जितना की अनिल का लण्ड ? मैंने पहली बार दीदी के सामने किसी और से चुदवाया ? ऐसा होने से मेरी हिम्मत पराये मर्दों से चुदवाने की बढ़ गयी। आखिर में कब मैंने झड़ता हुआ लण्ड चाटा तो दीदी मेरी बिना तारीफ किये अपने आपको रोक नहीं सकी ? वह बोली हाय पूजा तू तो मुझसे भी अच्छी तरह लण्ड चूस लेती है ? तू चिंता न कर अब मैं तेरी बुर चुदवाया करूंगी ?
दूसरे दिन इतवार था। दीदी घर में नहीं थी। जीजा आ चुके थे। दिन के ११ बजे थे गर्मी के दिन थे। मैं बाथ रूम से नहा कर निकली थी। मेरे बालों से पानी टपक रहा था और मैंने चूंचियों तक एक तौलिया लपेट रखी थी। तभी जीजा मेरे सामने आ गये। हमने एक दूसरे को देखा। मैं उसे देख कर मुस्कराई और वह मुझे देख कर। मैं थोड़ा जाने लगी तो जीजा ने मुझे पकड़ लिया और बोला हाय पूजा आज तुम बड़ी हसीन लग रही हो ? मैंने कहा तुम भी तो बड़े हैंडसम लग रहे हो जीजा ? बस जीजा ने मेरी तौलिया घसीट ली। मैं नंगी हो गयी तो फ़ौरन नीचे बैठ गयी। वह बोला हाय पूजा क्या सेक्सी बदन है तेरा ? अब इसे क्यों छुपा रही हो ? मैंने कहा छुपा तो तुम रहे हो जीजा अपना भोसड़ी का लण्ड ? मेरी खुली खुली बात और गाली सुनकर उसके अंदर जोश भर गया। उसने अपनी लुंगी खोल दी और मेरे आगे नेकर में खड़ा हो गया। बस मेरा हाथ उसके लण्ड पर चल गया। वह मेरी चूचियाँ मसलने लगा और मैं उसका लण्ड ? फिर मैंने उसकी चड्ढी भी उतार दी तो लण्ड राजा मेरे सामने खड़े हो गये ?
मैंने कहा वाओ, कितना बढ़िया लण्ड है तेरा जीजा ? अभी तक इस मादर चोद को मुझसे छिपा कर क्यों रखा था ? आज तो मैं इसे चोदूंगी ? वह मेरी अश्लील बातें सुनकर मस्त हो गया और मुझे चिपका लिया। मैं पूरी तरह से उससे चिपक गयी और फिर थोड़ी देर में नीचे घुटनो के बल बैठ कर लण्ड चूसने लगी। मैं मन में कहने लगी की उस दिन इसी लण्ड को दूर से देखा था और आज यह मेरे हाथ में है, मेरे मुंह है ? अभी यह माँ का लौड़ा मेरी चूत में भी घुस जाएगा ? मैं बड़ी देर तक चूसती रही लण्ड ? वह बोला हाय पूजा अब तू लण्ड चूसती ही रहेगी की चुदवायेगी भी ? मैंने कहा अभी तो मुझे जी भर कर चूस लेने दो लण्ड जीजा ? चुदवाने के लिये तो पूरा दिन पड़ा है। अब आज और कुछ तो होना नहीं है सिर्फ तुझे मेरी बुर चोदनी है भोसड़ी के जीजा ? जीजा ने मुझे उस दिन बहुत अच्छी अरह से चोदा।
वह बोला पूजा तेरी चूत में बड़ी दम है। इतनी टाईट चूत आज मैं पहली बार चोद रहा हूँ। अब तो मेरा मन तेरी गांड मारने का भी है पूजा ? मैंने कहा मैं पूरी तरह तुम्हारी हूँ जीजा जो चाहो चोदो ? तब तक उसने लण्ड मेरी चूंचियों के बीच घुसा दिया और बोला अब तो मैं पहले ये तेरी मद मस्त चूंचियां चोदूंगा ? जीजा का मादर चोद लण्ड मुझे बड़ी देर तक चोदता रहा , मैं पहले खलास हो गयी और वह बाद में ?
मेरा हसबैंड जब वापस आया तो दीदी ने घर में ही एक सेक्स पार्टी रखी ? उस पार्टी का नाम था "बीवियों की अदला बदली" - " तुम मेरी बीवी चोदो मैं तेरी बीवी चोदूँ" - "तुम मेरे पति से चुदवाओ मैं तेरे पति से चुदवाऊँ" ? इसमें ४/५ कपल थे ? दो दिन तक लोग एक दूसरे की बीवियां चोदते रहे ? और बीवियां एक दूसरे के पतियों से चुदवाती रहीं ?
मेरा हसबैंड जब वापस आया तो दीदी ने घर में ही एक सेक्स पार्टी रखी ? उस पार्टी का नाम था "बीवियों की अदला बदली" - " तुम मेरी बीवी चोदो मैं तेरी बीवी चोदूँ" - "तुम मेरे पति से चुदवाओ मैं तेरे पति से चुदवाऊँ" ? इसमें ४/५ कपल थे ? दो दिन तक लोग एक दूसरे की बीवियां चोदते रहे ? और बीवियां एक दूसरे के पतियों से चुदवाती रहीं ?
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