Home
» Desi Chut Gand Chudai Ki Kahaniyan देसी चूत गांड चुदाई की कहानियां Hindi Short Stories For Adults
» हम लोग हर दिन मिलकर चुदाई का मज़ा लूटतीं हैं - Ham har roj karti hai samuhik chudai
हम लोग हर दिन मिलकर चुदाई का मज़ा लूटतीं हैं - Ham har roj karti hai samuhik chudai
हम लोग हर दिन मिलकर चुदाई का मज़ा लूटतीं हैं - Ham har roj karti hai samuhik chudai , मस्त और जबरदस्त चुदाई , चुद गई , चुदवा ली , चोद दी , चुदवाती हूँ , चोदा चादी और चुदास अन्तर्वासना कामवासना , चुदवाने और चुदने के खेल , चूत गांड बुर चुदवाने और लंड चुसवाने की हिंदी सेक्स पोर्न कहानी.
उस दिन जैसे ही मैं घर पहुंची तो मैंने देखा की मेरी खाला जान बैठी हुईं हैं। मैं खाला जान से खुल कर मजाक करती हूँ क्योंकि खाला ने मुझे लण्ड पकड़ना सिखाया, मुठ्ठ मार कर लण्ड पीना सिखाया और लण्ड अपनी चूत में पेल कर चुदवाना सिखाया। मुझे एक दिन यह भी मालूम हुआ की मेरी अम्मी ने खाला की बेटी को लण्ड पकड़ना, मुठ्ठ मार कर लण्ड पीना और बुर में लौड़ा घुसेड़ कर चुदवाना सिखाया। खाला की बेटी सना लगभग मेरी ही उम्र की है। मेरी अम्मी और खाला ने एक दूसरे की बेटी को जवानी का मज़ा खुल्लम खुल्ला लेना सिखा दिया और साथ में गालियों से बात करना भी। हम दोनों अब मस्त जवान हैं, शादी शुदा हैं और आजकल जम कर ऐय्यासी कर रहीं हैं। हमारी ऐय्यासी में अम्मी भी शामिल हैं और खाला भी।
मैंने खाला को देखते ही कहा - खाला, तेरी बुर चोदी बहन की बुर ? खाला की बहन यानी मेरी अम्मी। मैंने अपनी अम्मी की बुर पर मजाक की चोट की। तब तक अम्मी वहां आ गयीं उसने मेरी गाली सुन ली थी। आते ही वह बोली - बेटी, तेरी माँ की बिटिया की बुर ? अम्मी ने उसी अंदाज़ में मेरी चूत पर मजाक की चोट कर दी। तब तक उसके पीछे से खाला की बेटी सना आ गयी।
उसे देख कर मैंने मस्ती से पूंछा - अरी सना तू क्या अपनी माँ चुदाने आईं हैं यहाँ, बुर चोदी ?
वह मुस्कराकर बोली - नहीं रेशमा, मैं माँ चुदाने नहीं आयी हूँ बल्कि अपनी माँ की बहन का भोसड़ा चोदने आई हूँ। और जब आ ही गईं हूँ रेशमा तो तेरी माँ चोद कर ही जाऊंगी। क्योंकि तेरी माँ ने मुझे चोदना और चुदवाना दोनों ही सिखाया है।
मैंने कहा - चोदना चुदवाना तो मुझे भी तेरी माँ ने सिखाया है, यार । अब तू अपनी बुर बचा के रखना और अपनी माँ का भोसड़ा भी ? क्योंकि मेरा कोई भरोषा नहीं की मैं कब किसकी बुर में लण्ड पेल दूँगी ?
वह बोली - हाय दईया, तू तो भोसड़ी की बड़ी खतरनाक हो गयी है। तब तो मैं सबसे पहले तेरी ही बुर में लौड़ा घुसाउंगी। और तेरी माँ भी बड़े मजे से चोदूँगी।
फिर क्या हम सब खिलखिलाकर हंसने लगीं।
तो देखा आपने दोस्तों हम लोग कितना मज़ा करतीं हैं ? कितनी खुश हैं और कितनी मस्ती कर रहीं हैं। हम सबका मानना है की गालियां देने से आपस में नजदीकियां बढ़तीं हैं, प्यार मोहब्बत बढ़ती है, मेल जोल बढ़ता है और एक दूसरे को जरुरत पड़ने पर मदद करने की इच्छा बढ़ती है। गालियां ही नहीं अब तो हम लोग एक दूसरे की बुर में लौड़ा पेल पेल चोदती भी हैं और चुदवाती भी हैं। जिसका मज़ा अल्फ़ाज़ों में बयां नहीं किया जा सकता। इसे आप बेशर्मी कहें निर्लज्जता कहे या फिर बेहूदापन कहे तो कहते रहें लेकिन हम लोग अपनी अय्यासी इसी तरह करती रहेंगीं।
मेरी अम्मी का नाम है शकीला बेगम और वह ४६ साल की हैं। बड़ी खूबसूरत, सेक्सी, और हंसमुख हैं। खूब मजाक करतीं हैं और गन्दी गन्दी बातें खुल कर करतीं हैं। इसी तरह मेरी खाला जान ताहिरा बेगम हैं। बेहद खूबसूरत, हॉट और बोल्ड हैं। गालियां देने में अव्वल हैं और चुदवाने में उससे ज्यादा अव्वल। खाला ने मुझे लण्ड पकड़ना और चुदवाना सिखाया उसी तरह मेरी अम्मी ने खाला की बेटी को लण्ड पकड़ना और बुर चुदवाना सिखाया। हम दोनों बेटियों की शादी हो गयी है। अब तो हम चारों मिलकर खूब चोदा चोदी करतीं हैं और एन्जॉय करतीं हैं क्योंकि हमारे पास लण्ड की कमी नहीं है।
एक दिन मेरी नन्द का फोन आ गया।
शाम को ७ बजे मैं सना के साथ बैठी हुई खुल कर गन्दी गन्दी बातें कर रही थी। मज़ा ले रही थी। कभी अपनी सुहागरात की बातें और कभी अपनी अपनी ससुराल वालों की बातें हो रहीं थीं जिसमे सबके लण्ड के बारे बातें ज्यादा हो रहीं थीं। इतने में मेरा नंदोई खालिद आ गया। उसे देख कर मेरे मुंह से निकला की लो मेरी झांटें उखाड़ने वाला आ गया। जब वह मेरे नजदीक आया तो मैंने उसे सना से मिलवा दिया। सना भी उसे देख कर खुश हो गयी। अचानक किसी ने दरवाजा खटखटाया। मैंने उठकर खोला तो सामने एक हैंडसम जवान लड़का खड़ा था। वह बोला मैं सना भाभी से मिलने आया हूँ। मैंने उसे अंदर ले लिया और दरवाजा बंद करके उसे सना के पास ले आयी। सना उसे देख कर अरे भोसड़ी के मदनी तू यहाँ बिना बताये आ गया ? सब ठीक तो हैं न ? वह बोला हां भाभी अब ठीक है। मुझे तुम्हारी याद आ रही थी तो चला आया। सना बोली मेरी याद नहीं मेरी चूत की याद आ रही होगी तुझे। उस दिन तू मुझे चोद नहीं पाया इसलिए तेरा लण्ड तड़प रहा है। वह बोला अरे भाभी लण्ड तो साला तुम्हारे नाम पर खड़ा ही रहता है। यह सुन कर हम दोनों हंसने लगीं।
सना ने उसके पैजामे के अंदर हाथ डाल कर बोली अच्छा तो मैं खुद देख लेती हूँ की तेरा लण्ड खड़ा है की तू बहन चोद झूंठ बोल रहा है ? उसके हाथ डालते ही लण्ड सच में खड़ा हो गया। तब सना ने उसका नाड़ा खोल डाला तो खड़ा लण्ड साला नंगा होकर सामने आ गया। मैंने कहा अरे वाह लण्ड तो यार बहुत बड़ा है इसका सना ? तेरी तो आज चुत फट जाएगी। वह बोली चूत तो तेरी फटेगी मेरी बुर चोदी रेशमा। मैं ये लण्ड तेरी चूत में पेलूँगी। मदनी पूरा नंगा हो गया था और सना की चूँचियाँ खोल कर मसलने लगा। उसे देख कर मुझे भी जोश आ गया। मैंने भी खालिद को नंगा कर दिया और उसका लौड़ा हिला हिला कर खड़ा कर दिया। सना लण्ड देख कर बोली वाओ, तेरे नंदोई का लण्ड तो ८" + का है रेशमा। आज तो ये तेरी बुर लेकर ही मानेगा। मैंने कहा नहीं यार आज ये मेरी बुर नहीं लेगा। आज यह मेरी बुर चोदी खाला की बिटिया की बुर लेगा। सना बड़ी जोर से हंस पड़ी। बस मैंने अपने नंदोई का लण्ड उसे पकड़ा दिया और उसने मुझे अपने देवर का लण्ड पकड़ा दिया। थोड़ी देर में हम दोनों भी नंगी हो गयीं।
मैं एकदम नंगी नंगी सना के देवर का गरमागरम लण्ड चाटने में जुट गयी। उधर मेरे सामने सना भी नंगी नंगी मेरे नंदोई का लण्ड चाटने में जुट गयी। लण्ड के अलावा न मुझे कोई होश था और न सना को। इतने में खाला जान की आवाज़ आयी वह बोल रही थी अरे दीदी देखो इन बुर चोदी बेटियों को कितनी मस्ती से पागलों की तरह लण्ड चाट रही हैं भोसड़ी वाली। मेरी अम्मी बोली हां यार इन बुर चोदियों पर ज्यादा ही जवानी चढ़ी हुई है। इनको न अपनी माँ का भोसड़ा दिखाई पड़ता है और न आपनी खाला का भोसड़ा ? लगता है की आज पहली बार ही ये दोनों लण्ड चाट रही हैं। फिर हमने मुड़ कर देखा की अम्मी और खाला दोनों अपनी अपनी चूँचियाँ खोले हुए हमारे सामने खड़ीं हैं और हमें लण्ड चाटते बड़े मजे से देख रहीं हैं। सना बोली अरे खाला जान जब लौड़ा नया हो और पराये मरद का हो तो ऐसा लगता है की आज पहली बार कोई लण्ड मिला है। मेरे हाथ में रेशमा के नंदोई का लण्ड है और उसके हाथ में मेरे देवर का लण्ड।
खाला बोली सना और रेशमा, तुम्हारी माँ का भोसड़ा। नए नए लण्ड दिखा कर तुम लोगों ने हमारी चूत में आग लगा दी है। अब क्या तेरा बाप चोदेगा हमारा भोसड़ा ? मैंने कहा अरे खाला जान किसी का तो बाप चोदेगा ही तेरा भोसड़ा। तब तक अम्मी अंदर गयीं और अपने दोनों हाथों में एक एक लण्ड पकड़े हुए आ गयीं। मैं अम्मी को देख कर दंग रह गयी और उससे ज्यादा वो बड़े बड़े लण्ड देख कर तो मेरी चूत में खलभली मच गयी। मुझे नहीं मालूम था की ये लण्ड किसके हैं पर हैं बहन चोद बड़े मोटे मोटे और हैंडसम, सना भी उन दोनों लण्ड को एकटक देखने लगी। तब अम्मी बोली अरे मेरी भोसड़ी वालियों ये लण्ड हमारे माईके के मोहल्ले वालों के हैं । अम्मी ने लण्ड दिखाते हुए कहा इसका नाम है जावेद और इसका नाम है आदिब। मैं और सना की अम्मी दोनों इन लोगों के लण्ड खूब पकड़तीं थीं, मुंह में लेती थीं और मौक़ा पाकर कभी कभी चुदवा भी लेती थी। फिर ये दोनों दुबई चले गए। अभी कुछ दिन पहले मालूम हुआ तो मैंने इन्हे बुला लिया। अम्मी ने जावेद का लण्ड मुझे पकड़ा दिया और मेरे हाथ से मदनी का लण्ड ले लिया। अम्मी ने दूसरा लण्ड सना को पकड़ा दिया और खाला ने उससे खालिद का लण्ड ले लिया।
अम्मी जबान निकाल कर मदनी का लण्ड चाटने लगीं। इसी तरह खाला जान भी मेरे नंदोई खालिद का लण्ड मस्ती से चाटने लगीं। वह बोली हाय रेशमा तेरे नंदोई का लण्ड तो बड़ा जबरदस्त है यार तू इसे अकेले अकेले ही जातक जाना चाहती थी। मैंने कहा नहीं खाला मैं बिना तेरा भोसड़ा चोदे यहाँ से जाती ही नहीं। मैंने कहा ये साला जावेद अंकल का लण्ड ने तो मेरी आग भड़का दी। मैं भूंखी बिल्ली की तरह लण्ड चाटने लगी। यही हाल सना का भी था। वह भी एक मस्त मोटा लंड पाकर चाटने में जुट गयी। थोड़ी देर बाद खाला तो मेरे नंदोई भकाभक चुदवाने लगीं अपनी चूत। अम्मी भी सना के देवर का लण्ड अपनी चूत में घुसा कर चुदवाने लगीं। जावेद अंकल मुझे चोदने आदिब अंकल सना की बुर मस्ती से लेने लगा। हम चारों की चूत धकाधक चुदने लगी और कमरा पूरा चुदाई की आवाज़ों से गूंजने लगा। मुझे चुदाई की आवाज़ बहुत अच्छी लगती है। सना भी चुदाई की आवाज़ खूब एन्जॉय करती है। उसने कहा यार रेशमा मैं जब तक चुदाई की आवाज़ सुन नहीं लेती तब तक मुझे नींद नहीं आती।
मैंने कहा यार मेरे साथ भी यही होता है। इधर माईके में रात भर चुदाई की आवाज़ सुनती हूँ और अब तो ससुराल में भी खूब चुदाई की आवाज़ें सुनतीं हूँ। मेरी जेठानी की चुदाई की आवाज़, मेरी देवरानी की चुदाई की आवाज़, मेरी सास नन्द की चुदाई की आवाज़ और मेरी फुफिया सास और उसकी बेटी की चुदाई की आवाज़ मुझे रात भर खूब सुनाई पड़ती है। मैं तो कभी कभी इनकी चुदाई की आवाज़ नजदीक से सुनने के लिए इनके पास चली जाती हूँ। आवाज़ भी सुनती हूँ और चुदाई की देखती हूँ। उस दिन मैं यह देख कर दंग रह गयी जिस दिन मेरा ससुर मेरी जेठानी की बुर ले रहा था। सना बोली यार आजकल सब चलता है। कौन किसकी बुर ले लेता है इसका कोई लेखा जोखा नहीं है। मेरा ससुर तो भोसड़ी का अपनी बहू बेटी एक साथ चोदता है। रात में चूत लण्ड के खेल में सब जायज़ है। ऐसा होना कोई ख़ास बात नहीं है और कोई गुनाह भी नहीं है।
अम्मी ने कहा सना तेरा देवर तो बड़ी अच्छी तरह बुर चोद लेता है। इतनी छोटी उम्र में ही इसे बुर चोदना आ गया। सना ने कहा अरे खाला जान ये मेरा देवर साला अपने लण्ड की बदौलत मोहल्ले की लड़कियां भी चोदता है। कुछ लड़कियां तो इससे अपनी माँ भी चुदवाती हैं। इसका लण्ड सबको पसंद आता है। खाला ने कहा रेशमा तेरा नंदोई भी लड़कियां चोदता होगा। मैंने कहा नहीं खाला मेरा नंदोई अपने दोस्तों की बीवियां चोदता है और इसके दोस्त इसकी बीवी चोदतें हैं। खाला बोली हाय दईया तेरी नन्द अपने मियां के दोस्तों से चुदवाती है ? बहुत बड़ी बुर चोदी है भोसड़ी वाली ? बातें भी हो रहीं थी और चुदाई भी हो रही थी। चुदाई की स्पीड भी बढती जा रही थी। बातें इतनी सेक्सी इतनी मसालेदार हो रहीं थीं की सबके लण्ड में जोश भर गया और तब ठुकाई की स्पीड बढ़ गयी। बीवियों को चाहिए क्या ? उनकी चूत की दना दन ठोकाई। जितनी ज्यादा चूत की ठोंकाई होगी उतना ज्यादा मज़ा इन बीवियों को आएगा।
माँ बेटी और सास बहू, मिलकर चाटें लण्ड
सबसे बुर चुदवा रही, खुल्लम खुल्ला नन्द
अचानक मैंने सना के देवर का लण्ड अम्मी की चूत से निकाल कर अपनी बुर में घुसा लिया। अम्मी ने आदिब का लण्ड सना की चूत से निकाल कर अपनी बुर में पेल लिया, सना ने मेरे नंदोई का लण्ड पकड़ा, उसे चूमा और धीरे से अपनी चूत में घुसेड़ लिया। खाला ने हाथ बढ़ाया और जावेद अंकल का लण्ड अपने भोसड़ा में ठोंकवा लिया। हम सबकी चूत के लण्ड बदल गये तो मज़ा दूना आने लगा। मज़ा इसलिए ज्यादा आने लगा की हम सब मिलकर एक दूसरे के सामने चुदवा रहीं थीं। मज़ा इसलिए भी ज्यादा आने लगा क्योंकि हम अब एक दूसरे की चूत में लण्ड पेल रही थीं। मिलकर मज़ा लूटना अपने आप में मजे दार होता है। आखिर में जब एक एक करके लण्ड झड़ने लगे तो सबने मिलकर उसे चाटा। एक साथ झड़ते हुए लण्ड पीने का मज़ा और लण्ड का सुपाड़ा चाटने का मज़ा अपने आप में बड़ा अच्छा होता है।
एक दिन मैं और सना दोनों शॉपिंग के लिए चली गयी। वहां हम लोगों को आने में थोड़ी देर हो गयी। वापस घर आयीं तो सीधे अम्मी के कमरे में घुस गयीं। वहां मैंने देखा मेरी अम्मी सना के शौहर तारिक का लण्ड नंगी नंगी चूस रही हैं और खाला मेरे शौहर आरिफ का लण्ड एकदम नंगी होकर चूस रहीं हैं। हम दोनों यह सब देख कर हैरान रह गयी। जब हम घर से गयीं थीं तो न मेरा शौहर घर पर था और न सना का शौहर। ये दोनों इतनी आ गए और ऐसा क्या हुआ की मेरी अम्मी और खाला एक दूसरे के दामाद का लण्ड चूसने भी लगीं।
मैंने कहा - मेरी बुर चोदी खाला तुझे इतनी जल्दी थी मेरे मियां का लण्ड चूसने की ? तेरी बहन की बिटिया की बुर, थोड़ा हमारा इंतज़ार नहीं कर सकती थी तू बहन चोद ?
सना भी मस्ती से बोली - अरे रेशमा की अम्मी मेरी भोसड़ी की खाला जान, तुझे अगर मेरे शौहर का लण्ड इतना बढ़िया लगता है तो थोड़ा इंतज़ार कर लेती ? मैं खुद अपने मियां का लण्ड तेरे भोसड़ा में घुसेड़ देती ? तेरी बहन का भोसड़ा ? मेरे सामने मेरे मियां से चुदवाने में तेरी बिटिया की बुर चुद जाती क्या ? फिर हम दोनों खुद ही हंसाने लगीं और मज़ा लेने लगीं। मैंने अपने मियां का लण्ड खाला की चूत में फिर घुसेड़ा और सना अपने मियां का लण्ड मेरी माँ की चूत में निकाल निकाल कर पेलने लगी।
सना बोली - रेशमा, अब तो मैं तेरी माँ मजे से चोदूँगी।
मैंने कहा - तो क्या मैं बैठी बैठी झांटें उखाडूँगी अपनी । मैं भी तेरी माँ चोदूँगी।
इस तरह हम लोग हर दिन मिलकर चुदाई का मज़ा लूटतीं हैं और जम कर एन्जॉय करतीं हैं।
उस दिन जैसे ही मैं घर पहुंची तो मैंने देखा की मेरी खाला जान बैठी हुईं हैं। मैं खाला जान से खुल कर मजाक करती हूँ क्योंकि खाला ने मुझे लण्ड पकड़ना सिखाया, मुठ्ठ मार कर लण्ड पीना सिखाया और लण्ड अपनी चूत में पेल कर चुदवाना सिखाया। मुझे एक दिन यह भी मालूम हुआ की मेरी अम्मी ने खाला की बेटी को लण्ड पकड़ना, मुठ्ठ मार कर लण्ड पीना और बुर में लौड़ा घुसेड़ कर चुदवाना सिखाया। खाला की बेटी सना लगभग मेरी ही उम्र की है। मेरी अम्मी और खाला ने एक दूसरे की बेटी को जवानी का मज़ा खुल्लम खुल्ला लेना सिखा दिया और साथ में गालियों से बात करना भी। हम दोनों अब मस्त जवान हैं, शादी शुदा हैं और आजकल जम कर ऐय्यासी कर रहीं हैं। हमारी ऐय्यासी में अम्मी भी शामिल हैं और खाला भी।
मैंने खाला को देखते ही कहा - खाला, तेरी बुर चोदी बहन की बुर ? खाला की बहन यानी मेरी अम्मी। मैंने अपनी अम्मी की बुर पर मजाक की चोट की। तब तक अम्मी वहां आ गयीं उसने मेरी गाली सुन ली थी। आते ही वह बोली - बेटी, तेरी माँ की बिटिया की बुर ? अम्मी ने उसी अंदाज़ में मेरी चूत पर मजाक की चोट कर दी। तब तक उसके पीछे से खाला की बेटी सना आ गयी।
उसे देख कर मैंने मस्ती से पूंछा - अरी सना तू क्या अपनी माँ चुदाने आईं हैं यहाँ, बुर चोदी ?
वह मुस्कराकर बोली - नहीं रेशमा, मैं माँ चुदाने नहीं आयी हूँ बल्कि अपनी माँ की बहन का भोसड़ा चोदने आई हूँ। और जब आ ही गईं हूँ रेशमा तो तेरी माँ चोद कर ही जाऊंगी। क्योंकि तेरी माँ ने मुझे चोदना और चुदवाना दोनों ही सिखाया है।
मैंने कहा - चोदना चुदवाना तो मुझे भी तेरी माँ ने सिखाया है, यार । अब तू अपनी बुर बचा के रखना और अपनी माँ का भोसड़ा भी ? क्योंकि मेरा कोई भरोषा नहीं की मैं कब किसकी बुर में लण्ड पेल दूँगी ?
वह बोली - हाय दईया, तू तो भोसड़ी की बड़ी खतरनाक हो गयी है। तब तो मैं सबसे पहले तेरी ही बुर में लौड़ा घुसाउंगी। और तेरी माँ भी बड़े मजे से चोदूँगी।
फिर क्या हम सब खिलखिलाकर हंसने लगीं।
तो देखा आपने दोस्तों हम लोग कितना मज़ा करतीं हैं ? कितनी खुश हैं और कितनी मस्ती कर रहीं हैं। हम सबका मानना है की गालियां देने से आपस में नजदीकियां बढ़तीं हैं, प्यार मोहब्बत बढ़ती है, मेल जोल बढ़ता है और एक दूसरे को जरुरत पड़ने पर मदद करने की इच्छा बढ़ती है। गालियां ही नहीं अब तो हम लोग एक दूसरे की बुर में लौड़ा पेल पेल चोदती भी हैं और चुदवाती भी हैं। जिसका मज़ा अल्फ़ाज़ों में बयां नहीं किया जा सकता। इसे आप बेशर्मी कहें निर्लज्जता कहे या फिर बेहूदापन कहे तो कहते रहें लेकिन हम लोग अपनी अय्यासी इसी तरह करती रहेंगीं।
मेरी अम्मी का नाम है शकीला बेगम और वह ४६ साल की हैं। बड़ी खूबसूरत, सेक्सी, और हंसमुख हैं। खूब मजाक करतीं हैं और गन्दी गन्दी बातें खुल कर करतीं हैं। इसी तरह मेरी खाला जान ताहिरा बेगम हैं। बेहद खूबसूरत, हॉट और बोल्ड हैं। गालियां देने में अव्वल हैं और चुदवाने में उससे ज्यादा अव्वल। खाला ने मुझे लण्ड पकड़ना और चुदवाना सिखाया उसी तरह मेरी अम्मी ने खाला की बेटी को लण्ड पकड़ना और बुर चुदवाना सिखाया। हम दोनों बेटियों की शादी हो गयी है। अब तो हम चारों मिलकर खूब चोदा चोदी करतीं हैं और एन्जॉय करतीं हैं क्योंकि हमारे पास लण्ड की कमी नहीं है।
एक दिन मेरी नन्द का फोन आ गया।
- वह बोली रेशमा भाभी क्या हो रहा है ?
- मैं बड़े मूड में थी। मैंने जबाब दिया झांटें उखाड़ रही हूँ बैठी बैठी और क्या ?
- अरे भाभी मुझसे कहा होता तो मैं आकर उखाड़ देती तेरी झांटें ?
- तुझसे झांटें उखड़वा के क्या मिलेगा ? अपने मियां खालिद से कहो वो आके उखाड़े मेरी झांटें तो बात भी है ?
- अरे भाभी जान वो तो भोसड़ी का बिलकुल तैयार बैठा है। जाने कितनी बार कह चुका है की अपनी रेशमा भाभी की बुर दिलवाओ मुझे?
- तो फिर तूने अभी तक दिलवाई क्यों नहीं ? इतने दिनों से तू क्या अपनी माँ चुदा रही थी भोसड़ी वाली ?
- अरे तो अभी कौन सी देर हो गयी हूँ ? कहो तो आज ही भेज दूँ। पर भाभी तुम उसे अच्छी तरह से देना अपनी बुर ? मेरी बेज़्ज़ती नहीं करना ?
- अरे तू भेज तो दे ? मैं तो अपनी क्या अपनी माँ की भी बुर दिलवा दूँगी उसे ।
- पक्का भाभी ? वादा खिलाफी तो नहीं करोगी ?
- नहीं करूंगी तू मेरे पर भरोषा तो रख ?
- तो फिर मैं अपने मियां से कहती हूँ की वह रेशमा भाभी की चूत और उसकी माँ की चूत चोद कर आये ?
- हां हां , भेज दे, आज ही भेज दे। मैं उसे खुश कर दूँगी। और सुन बुर चोदी नन्द रानी, मैं वहां आकर तेरी भी बुर चोदूँगी और तेरी माँ का भोसड़ा भी चोदूँगी।
शाम को ७ बजे मैं सना के साथ बैठी हुई खुल कर गन्दी गन्दी बातें कर रही थी। मज़ा ले रही थी। कभी अपनी सुहागरात की बातें और कभी अपनी अपनी ससुराल वालों की बातें हो रहीं थीं जिसमे सबके लण्ड के बारे बातें ज्यादा हो रहीं थीं। इतने में मेरा नंदोई खालिद आ गया। उसे देख कर मेरे मुंह से निकला की लो मेरी झांटें उखाड़ने वाला आ गया। जब वह मेरे नजदीक आया तो मैंने उसे सना से मिलवा दिया। सना भी उसे देख कर खुश हो गयी। अचानक किसी ने दरवाजा खटखटाया। मैंने उठकर खोला तो सामने एक हैंडसम जवान लड़का खड़ा था। वह बोला मैं सना भाभी से मिलने आया हूँ। मैंने उसे अंदर ले लिया और दरवाजा बंद करके उसे सना के पास ले आयी। सना उसे देख कर अरे भोसड़ी के मदनी तू यहाँ बिना बताये आ गया ? सब ठीक तो हैं न ? वह बोला हां भाभी अब ठीक है। मुझे तुम्हारी याद आ रही थी तो चला आया। सना बोली मेरी याद नहीं मेरी चूत की याद आ रही होगी तुझे। उस दिन तू मुझे चोद नहीं पाया इसलिए तेरा लण्ड तड़प रहा है। वह बोला अरे भाभी लण्ड तो साला तुम्हारे नाम पर खड़ा ही रहता है। यह सुन कर हम दोनों हंसने लगीं।
सना ने उसके पैजामे के अंदर हाथ डाल कर बोली अच्छा तो मैं खुद देख लेती हूँ की तेरा लण्ड खड़ा है की तू बहन चोद झूंठ बोल रहा है ? उसके हाथ डालते ही लण्ड सच में खड़ा हो गया। तब सना ने उसका नाड़ा खोल डाला तो खड़ा लण्ड साला नंगा होकर सामने आ गया। मैंने कहा अरे वाह लण्ड तो यार बहुत बड़ा है इसका सना ? तेरी तो आज चुत फट जाएगी। वह बोली चूत तो तेरी फटेगी मेरी बुर चोदी रेशमा। मैं ये लण्ड तेरी चूत में पेलूँगी। मदनी पूरा नंगा हो गया था और सना की चूँचियाँ खोल कर मसलने लगा। उसे देख कर मुझे भी जोश आ गया। मैंने भी खालिद को नंगा कर दिया और उसका लौड़ा हिला हिला कर खड़ा कर दिया। सना लण्ड देख कर बोली वाओ, तेरे नंदोई का लण्ड तो ८" + का है रेशमा। आज तो ये तेरी बुर लेकर ही मानेगा। मैंने कहा नहीं यार आज ये मेरी बुर नहीं लेगा। आज यह मेरी बुर चोदी खाला की बिटिया की बुर लेगा। सना बड़ी जोर से हंस पड़ी। बस मैंने अपने नंदोई का लण्ड उसे पकड़ा दिया और उसने मुझे अपने देवर का लण्ड पकड़ा दिया। थोड़ी देर में हम दोनों भी नंगी हो गयीं।
मैं एकदम नंगी नंगी सना के देवर का गरमागरम लण्ड चाटने में जुट गयी। उधर मेरे सामने सना भी नंगी नंगी मेरे नंदोई का लण्ड चाटने में जुट गयी। लण्ड के अलावा न मुझे कोई होश था और न सना को। इतने में खाला जान की आवाज़ आयी वह बोल रही थी अरे दीदी देखो इन बुर चोदी बेटियों को कितनी मस्ती से पागलों की तरह लण्ड चाट रही हैं भोसड़ी वाली। मेरी अम्मी बोली हां यार इन बुर चोदियों पर ज्यादा ही जवानी चढ़ी हुई है। इनको न अपनी माँ का भोसड़ा दिखाई पड़ता है और न आपनी खाला का भोसड़ा ? लगता है की आज पहली बार ही ये दोनों लण्ड चाट रही हैं। फिर हमने मुड़ कर देखा की अम्मी और खाला दोनों अपनी अपनी चूँचियाँ खोले हुए हमारे सामने खड़ीं हैं और हमें लण्ड चाटते बड़े मजे से देख रहीं हैं। सना बोली अरे खाला जान जब लौड़ा नया हो और पराये मरद का हो तो ऐसा लगता है की आज पहली बार कोई लण्ड मिला है। मेरे हाथ में रेशमा के नंदोई का लण्ड है और उसके हाथ में मेरे देवर का लण्ड।
खाला बोली सना और रेशमा, तुम्हारी माँ का भोसड़ा। नए नए लण्ड दिखा कर तुम लोगों ने हमारी चूत में आग लगा दी है। अब क्या तेरा बाप चोदेगा हमारा भोसड़ा ? मैंने कहा अरे खाला जान किसी का तो बाप चोदेगा ही तेरा भोसड़ा। तब तक अम्मी अंदर गयीं और अपने दोनों हाथों में एक एक लण्ड पकड़े हुए आ गयीं। मैं अम्मी को देख कर दंग रह गयी और उससे ज्यादा वो बड़े बड़े लण्ड देख कर तो मेरी चूत में खलभली मच गयी। मुझे नहीं मालूम था की ये लण्ड किसके हैं पर हैं बहन चोद बड़े मोटे मोटे और हैंडसम, सना भी उन दोनों लण्ड को एकटक देखने लगी। तब अम्मी बोली अरे मेरी भोसड़ी वालियों ये लण्ड हमारे माईके के मोहल्ले वालों के हैं । अम्मी ने लण्ड दिखाते हुए कहा इसका नाम है जावेद और इसका नाम है आदिब। मैं और सना की अम्मी दोनों इन लोगों के लण्ड खूब पकड़तीं थीं, मुंह में लेती थीं और मौक़ा पाकर कभी कभी चुदवा भी लेती थी। फिर ये दोनों दुबई चले गए। अभी कुछ दिन पहले मालूम हुआ तो मैंने इन्हे बुला लिया। अम्मी ने जावेद का लण्ड मुझे पकड़ा दिया और मेरे हाथ से मदनी का लण्ड ले लिया। अम्मी ने दूसरा लण्ड सना को पकड़ा दिया और खाला ने उससे खालिद का लण्ड ले लिया।
अम्मी जबान निकाल कर मदनी का लण्ड चाटने लगीं। इसी तरह खाला जान भी मेरे नंदोई खालिद का लण्ड मस्ती से चाटने लगीं। वह बोली हाय रेशमा तेरे नंदोई का लण्ड तो बड़ा जबरदस्त है यार तू इसे अकेले अकेले ही जातक जाना चाहती थी। मैंने कहा नहीं खाला मैं बिना तेरा भोसड़ा चोदे यहाँ से जाती ही नहीं। मैंने कहा ये साला जावेद अंकल का लण्ड ने तो मेरी आग भड़का दी। मैं भूंखी बिल्ली की तरह लण्ड चाटने लगी। यही हाल सना का भी था। वह भी एक मस्त मोटा लंड पाकर चाटने में जुट गयी। थोड़ी देर बाद खाला तो मेरे नंदोई भकाभक चुदवाने लगीं अपनी चूत। अम्मी भी सना के देवर का लण्ड अपनी चूत में घुसा कर चुदवाने लगीं। जावेद अंकल मुझे चोदने आदिब अंकल सना की बुर मस्ती से लेने लगा। हम चारों की चूत धकाधक चुदने लगी और कमरा पूरा चुदाई की आवाज़ों से गूंजने लगा। मुझे चुदाई की आवाज़ बहुत अच्छी लगती है। सना भी चुदाई की आवाज़ खूब एन्जॉय करती है। उसने कहा यार रेशमा मैं जब तक चुदाई की आवाज़ सुन नहीं लेती तब तक मुझे नींद नहीं आती।
मैंने कहा यार मेरे साथ भी यही होता है। इधर माईके में रात भर चुदाई की आवाज़ सुनती हूँ और अब तो ससुराल में भी खूब चुदाई की आवाज़ें सुनतीं हूँ। मेरी जेठानी की चुदाई की आवाज़, मेरी देवरानी की चुदाई की आवाज़, मेरी सास नन्द की चुदाई की आवाज़ और मेरी फुफिया सास और उसकी बेटी की चुदाई की आवाज़ मुझे रात भर खूब सुनाई पड़ती है। मैं तो कभी कभी इनकी चुदाई की आवाज़ नजदीक से सुनने के लिए इनके पास चली जाती हूँ। आवाज़ भी सुनती हूँ और चुदाई की देखती हूँ। उस दिन मैं यह देख कर दंग रह गयी जिस दिन मेरा ससुर मेरी जेठानी की बुर ले रहा था। सना बोली यार आजकल सब चलता है। कौन किसकी बुर ले लेता है इसका कोई लेखा जोखा नहीं है। मेरा ससुर तो भोसड़ी का अपनी बहू बेटी एक साथ चोदता है। रात में चूत लण्ड के खेल में सब जायज़ है। ऐसा होना कोई ख़ास बात नहीं है और कोई गुनाह भी नहीं है।
अम्मी ने कहा सना तेरा देवर तो बड़ी अच्छी तरह बुर चोद लेता है। इतनी छोटी उम्र में ही इसे बुर चोदना आ गया। सना ने कहा अरे खाला जान ये मेरा देवर साला अपने लण्ड की बदौलत मोहल्ले की लड़कियां भी चोदता है। कुछ लड़कियां तो इससे अपनी माँ भी चुदवाती हैं। इसका लण्ड सबको पसंद आता है। खाला ने कहा रेशमा तेरा नंदोई भी लड़कियां चोदता होगा। मैंने कहा नहीं खाला मेरा नंदोई अपने दोस्तों की बीवियां चोदता है और इसके दोस्त इसकी बीवी चोदतें हैं। खाला बोली हाय दईया तेरी नन्द अपने मियां के दोस्तों से चुदवाती है ? बहुत बड़ी बुर चोदी है भोसड़ी वाली ? बातें भी हो रहीं थी और चुदाई भी हो रही थी। चुदाई की स्पीड भी बढती जा रही थी। बातें इतनी सेक्सी इतनी मसालेदार हो रहीं थीं की सबके लण्ड में जोश भर गया और तब ठुकाई की स्पीड बढ़ गयी। बीवियों को चाहिए क्या ? उनकी चूत की दना दन ठोकाई। जितनी ज्यादा चूत की ठोंकाई होगी उतना ज्यादा मज़ा इन बीवियों को आएगा।
माँ बेटी और सास बहू, मिलकर चाटें लण्ड
सबसे बुर चुदवा रही, खुल्लम खुल्ला नन्द
अचानक मैंने सना के देवर का लण्ड अम्मी की चूत से निकाल कर अपनी बुर में घुसा लिया। अम्मी ने आदिब का लण्ड सना की चूत से निकाल कर अपनी बुर में पेल लिया, सना ने मेरे नंदोई का लण्ड पकड़ा, उसे चूमा और धीरे से अपनी चूत में घुसेड़ लिया। खाला ने हाथ बढ़ाया और जावेद अंकल का लण्ड अपने भोसड़ा में ठोंकवा लिया। हम सबकी चूत के लण्ड बदल गये तो मज़ा दूना आने लगा। मज़ा इसलिए ज्यादा आने लगा की हम सब मिलकर एक दूसरे के सामने चुदवा रहीं थीं। मज़ा इसलिए भी ज्यादा आने लगा क्योंकि हम अब एक दूसरे की चूत में लण्ड पेल रही थीं। मिलकर मज़ा लूटना अपने आप में मजे दार होता है। आखिर में जब एक एक करके लण्ड झड़ने लगे तो सबने मिलकर उसे चाटा। एक साथ झड़ते हुए लण्ड पीने का मज़ा और लण्ड का सुपाड़ा चाटने का मज़ा अपने आप में बड़ा अच्छा होता है।
एक दिन मैं और सना दोनों शॉपिंग के लिए चली गयी। वहां हम लोगों को आने में थोड़ी देर हो गयी। वापस घर आयीं तो सीधे अम्मी के कमरे में घुस गयीं। वहां मैंने देखा मेरी अम्मी सना के शौहर तारिक का लण्ड नंगी नंगी चूस रही हैं और खाला मेरे शौहर आरिफ का लण्ड एकदम नंगी होकर चूस रहीं हैं। हम दोनों यह सब देख कर हैरान रह गयी। जब हम घर से गयीं थीं तो न मेरा शौहर घर पर था और न सना का शौहर। ये दोनों इतनी आ गए और ऐसा क्या हुआ की मेरी अम्मी और खाला एक दूसरे के दामाद का लण्ड चूसने भी लगीं।
मैंने कहा - मेरी बुर चोदी खाला तुझे इतनी जल्दी थी मेरे मियां का लण्ड चूसने की ? तेरी बहन की बिटिया की बुर, थोड़ा हमारा इंतज़ार नहीं कर सकती थी तू बहन चोद ?
सना भी मस्ती से बोली - अरे रेशमा की अम्मी मेरी भोसड़ी की खाला जान, तुझे अगर मेरे शौहर का लण्ड इतना बढ़िया लगता है तो थोड़ा इंतज़ार कर लेती ? मैं खुद अपने मियां का लण्ड तेरे भोसड़ा में घुसेड़ देती ? तेरी बहन का भोसड़ा ? मेरे सामने मेरे मियां से चुदवाने में तेरी बिटिया की बुर चुद जाती क्या ? फिर हम दोनों खुद ही हंसाने लगीं और मज़ा लेने लगीं। मैंने अपने मियां का लण्ड खाला की चूत में फिर घुसेड़ा और सना अपने मियां का लण्ड मेरी माँ की चूत में निकाल निकाल कर पेलने लगी।
सना बोली - रेशमा, अब तो मैं तेरी माँ मजे से चोदूँगी।
मैंने कहा - तो क्या मैं बैठी बैठी झांटें उखाडूँगी अपनी । मैं भी तेरी माँ चोदूँगी।
इस तरह हम लोग हर दिन मिलकर चुदाई का मज़ा लूटतीं हैं और जम कर एन्जॉय करतीं हैं।
Click on Search Button to search more posts.
